देखते हैं ये जिंदगी हमें कब तक भटकाएगी किसी दिन तो कोशिशें हमारी रंग लाएंगी, उस रोज हम आराम से बैठेंगे अपने कमरे में और कामयाबी बहार कड़ी दरवाजा खटखटाएगी। ©HRITHIK CHAUDHARI Hrithik Choudhary