माया क्या है वह है जो प्रभुप्रेम व प्रभु प्रीत के भाव से तोड़ कर अन्य किसी भाव मे जिसमे आसक्ति व हउमै हो उसमे लगा दे उधारण के लिए ज्ञान की आसक्ति भी माया है।। वह सब माया है।। ©Biikrmjet Sing #माया