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मेरी खामोशी भी मेरे अल्फाजों कि डोर है! मै छुप र

मेरी खामोशी भी  मेरे अल्फाजों  कि डोर है!
मै छुप रहता हूँ भी तो, क्या यहाँ मेरी आँखो का ही शोर हैं।
 और ये धीमी धीमी चाल से उस भीड़ मे विलीन क्यों हो रही हो जान ।
मेरी नजरे सिर्फ तुम पर है यहाँ शिकार तो कोई ओर है ।

©its@re D@mor quotes of the day
मेरी खामोशी भी  मेरे अल्फाजों  कि डोर है!
मै छुप रहता हूँ भी तो, क्या यहाँ मेरी आँखो का ही शोर हैं।
 और ये धीमी धीमी चाल से उस भीड़ मे विलीन क्यों हो रही हो जान ।
मेरी नजरे सिर्फ तुम पर है यहाँ शिकार तो कोई ओर है ।

©its@re D@mor quotes of the day
rahuldamor7520

its@re Damor

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