कुछ वजह मिल जाती है जिंदगी की बेवजह ही,, एक उम्र में मोहब्बत जवां हुई एक काश और एक आस में सिमट कर रह गई,,,, हो गई थी मोहब्बत अनजाने में खुशनुमा एहसासो के उबलते ख़्यालों में,,,,,,, यूं तो दौर शुरुआत का यूं शुरू हुआ खलबली सी कुछ होने लगी,,,,,,,,