Nojoto: Largest Storytelling Platform

हर ख़ुशी हर ग़मी हर बार खलती है उसकी कमी हर सवेर हर

हर ख़ुशी हर ग़मी
हर बार खलती है उसकी कमी
हर सवेर हर शब
आँखे ढूँढती है सिर्फ़ एक शख़्स
हर ख़्वाब हर ख़्याल
बस उसका ही चाहे दीदार
हर रात हर मुलाक़ात
बस उसका ही चाहे साथ।  " साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता "
(Post 11)
सभी दोस्तों को मेरा प्यार भरा "नमस्कार"

🎀 
आप सभी से मेरा निवेदन है शीर्षक को ध्यान में रखते हुए 
अपनी बहुमूल्य रचनाएं लिखे ।
हर ख़ुशी हर ग़मी
हर बार खलती है उसकी कमी
हर सवेर हर शब
आँखे ढूँढती है सिर्फ़ एक शख़्स
हर ख़्वाब हर ख़्याल
बस उसका ही चाहे दीदार
हर रात हर मुलाक़ात
बस उसका ही चाहे साथ।  " साप्ताहिक काव्य प्रतियोगिता "
(Post 11)
सभी दोस्तों को मेरा प्यार भरा "नमस्कार"

🎀 
आप सभी से मेरा निवेदन है शीर्षक को ध्यान में रखते हुए 
अपनी बहुमूल्य रचनाएं लिखे ।