Nojoto: Largest Storytelling Platform

वह शहर-दर-शहर भटकती रही और वों चैन से सोता रहा, अ

वह शहर-दर-शहर भटकती रही 
और वों चैन से सोता रहा,
अजीब बदकिस्मती हैं यारा
किसी को अनचाहे मिला तो छोड़ दिया
तो कोई जुदाई में रोता रहा।

©Ajit Bhai Yadav
  #Love #breackup #luck  #किसमत #नसीब  Manzoor Alam Dehalvi  MM Mumtaz suresh anjaan khubsurat pramodini mohapatra