लूट-खसोट, डकैती, और बलात्कार, सब नर्क की तैयारी है। कब समझोगे ऐ हैवानों, आतंकवाद एक बीमारी है। अनाधिकृत बंदूकों से लोगों का छलनी कर, अवैध विस्फोटकों से इंसानों को मथनी कर, लेकर जिहाद का प्रण, इंसानियत का कत्ल कर, जिहादी कर रहा तू अपमान, ऊपर वाले का भारी है। कब समझोगे ऐ हैवानो, आतंकवाद एक बीमारी है। पूछो उन बच्चों की चीखों से, अंधी मां की बुझती दीपों से, पूछो उस नवविवाहित विधवा से, तेरा जिहाद क्या उसके आंसुओं से भारी है? कब समझोगे ऐ हैवानों, आतंकवाद एक बीमारी है। लालच और राजनैतिक बंटवारों से फलित, मासूमों के खून की धार से, और इंसानियत की हार से, यें धरती अब हो गई विचारी है, कब समझोगे ऐ हैवानों, आतंकवाद एक बीमारी है। #NojotoQuote आतंकवाद एक बिमारी है। #against_terrorism