सुनो अब लौट आओ तुम "तुम्हारी याद आती है तुम्हारी याद हर पल मुझे "इतना सताती है न तुम विन चैन आता है " न तुम बिन नीद आती है सुनो अब लौट आओ तुम तुम्हारी याद आती है कितने दिन महीने गुजरे अब तलक तुम नहीं आए देखो आंख में मेरी ,,आंसू छलक आए तुम्हें गांव की ये,, गलियां बुलाती हैं तुम्हे पायल बुलाती है,, तुम्हे चूड़ी बुलाती है और मांग की मेरी बिंदिया बुलाती है तुम्हे मुन्ना बुलाता है तुम्हे मुन्नी बुलाती है सुनो अब लौट आओ तुम,, तुम्हारी याद आती है सुनो अब लौट आओ तुम,, तुम्हारी याद आती है *असद* अब लौट आओ तुम तुम्हारी याद आती है ©Asad Khan Lakhimpuri #Preying #shayri #poem✍🧡🧡💛 #asadkhanwrites #poatry #gazal #Broken💔Heart