दिल से इबादत करने वाले राहत साहेब जिनकी गूंज थी कानों में दिलो में एक शायर की आवाज़ गूंजती थी चारों तरफ अब एक तरफा रहे गई किस को केहगे की कोई अपना था तो कोई पर्य था ना कभी मिला है ना कभी मिलेगा बस एक ही नाम था डॉक्टर राहत इंदौरी सब के दिलो में आज भी एक घर था और रहेगा वो भी चले बसे हिंदुस्तान कि मिट्टी में एक अपना शहर बनाने #RIPdrrahatindori ©विशाल #RipRahatIndauri #Love #never #Forget #you #RipRahatIndauri