स्वाभिमान की डोर थामने में खुद से सच बोलने में सच को स्वीकारने में झूठ को आँखे दिखाने में छ्ल को ठोकर मारने मे प्रेम की लाज़ बचाने में ताकि कल नजरें मिला सकें उस ईश्वर से भी..... जिसने ये सारा सार्मथ्य दिया संकोच है किस बात का... #संकोच #collab #YourQuoteAndMine Collaborating with YourQuote Didi