हमारे साथ साथ रहते हैं हमें फिर आजमाते हैं बनकर राज़दां आंखों से काजल तक चुराते हैं चलो अच्छा हुआ वरना हमें कैसे पता चलता 'हीरू' जो लोग सस्ते हैं सबक महंगे सिखाते हैं *बनारसी इश्क* ©Rohit Mishra #बनारसी_इश्क़ #आज़माइश #राज़दाँ #काजल #सस्ते #लोग #हीरू #महंगे