दुख तो हुआ ही तुम्हारा यह हाल सुनकर ऐ मेरे दोस्त मुझे माफ करना मैंने कहा था तुमसे भरोसे के लायक यहां कोई नहीं कोई भी नहीं सब इंसानियत की आड़ में बहरूपिया ही हैं बस तुम ही अपनी जिद पर अड़ी रही तुममें चाह थी आश की तुम भी मदद की पनाह में अड़ी रही मुश्किल है इस बात पर यकीन करना कि इंसानियत अब गुमराह होती जा रही है जीवन जीने के प्रति मेरी यह चाह भी अब धीरे-धीरे कम होती जा रही है क्यों हर तरफ जालिमों जैसा बर्ताव हम में और नरभक्षीओं में आखिर अब फरक ही क्या रहा दिन प्रतिदिन उनसे भी अब दूरियां कम होती जा रही है Yãsh ✍️ #RIPHUMANITY #RIP #riphumanity😞 #Pain #Hopeless #BlackDay