ज़िल्लत, बदनामी और चार लोग हमारे पैरो की वो जंजीरे बन जाती है जो हमें आगे बढ़ने से बार-बार रोकती है ©Jyoti Khatkar #nojoto #nojotohindi #jyotikhatkar #jyotikhatkarpoetry #positivetalk #positivetalkpoetry