उसकी क़ुर्बत के जिक्र पर गुज़रती हवाओँ ने मुँह मोड़ लिया, देख उसे साथ मेरे, मानो सारे जहाँ ने नाता तोड़ दिया।। कहता था हर कोई वो ख़्वाब है मेरा, हक़ीक़त में वो कहि नहीं, पर कौन समज़ाये अब उन्हें, जो मज़ा ख़्वाब में है वो और कहि नहीं।। #kurbat #क़ुर्बत #yqdidi