खूब लड़ी मर्दानी वो तो झाँसी वाली रानी थी, आँखों में ज्वाला जिसके, मधुर जिसकी वाणी थी दुश्मनों को स्वप्न में भी भयाभीत कर दे जो वो वैसी कहानी थी, अकेले ही मर्दों को धुल चटा दे जो वो इतनी सयानी थी अपने बच्चे को बांध पीठ पर विरोधियों को पराजित करने की उसने ठानी थी, औरतों के समान के लिए जिसने रची कहानी थी हां खूब लड़ी मर्दानी वो तो झाँसी वाली रानी थी... #झाँसी वाली रानी थी..