ख़ामोश नज़र तेरे मेरे दर्मियां, जो है पड़ी खामोशियां। बिखर रही हैं मेरे हर तरफ, इस क़दर बेहोशियां।। ख़त्म ना हो जाऊं, ये सोच कर हिल जाता हूं। तेरा ख्याल आए तो, कुछ यादों से मिल लेता हूं।। कर ली हैं हमने भी कुछ यादें बंद संदूक में। ख़त्म कर लूं तू कहें तो, गोली डाल बंदूक में।। #dndhirendra #trending #shyari #hindishyari #newwritter #jharkhand_shyari