जो परिंदों सा उड़ता था, जो लहरों से लड़ता था,आज वो दरिंदों सा बनता है, आज वो शहरो से छुपता है, छीना तो उससे उसका जुनून था साहब, अब टूटे टुकड़ों सा वो जिंदादिल, अँधेरों में मरता है. #yqbaba #yqtales #merinimmo #yqhindiurdu #words #believe #hugs