Title..... " सच्चाई बोलती है " लेखक :- मनीष कुमार यादव... चुप रहकर भी वो सारे राज़ खोलती है , जब झूठ करता हद पार तब सच्चाई बोलती है... हां , चलो मान लेता हूं झूठ के पंख होते है , ● ● ● ● Read Full Poem In Caption....😊😊 ☝️☝️ Share It If You Can....☺️☺️ ... @ The Poet...😊😊 Title .... " सच्चाई बोलती है " चुप रहकर भी वो सारे राज़ खोलती है , जब झूठ करता हद पार तब सच्चाई बोलती है... हां , चलो मान लेता हूं झूठ के पंख होते है , चलो ये भी माना झूठे लोग बड़े चैन से सोते है...