तुम में फिर डूबने की ख़्वाहिश है नर्म होठों की होंठों से गुज़ारिश है आज भीगी भीगी रात में खो जाए हम बारिश की मौसम-ए-इश्क़ पर नवाज़िश है। Hello Resties! ❤️ Collab on this #rzpictureprompt and add your thoughts to it! 😊 Highlight and share this beautiful post so no one misses it!😍 Don't forget to check out our pinned post🥳