चल आज साथ में फिर थोड़ा मुस्कुराते हैं कुछ खुद की गलती और थोड़ा वक्त को दोषी ठहराते हैं, नदी किनारे बैठ कुछ गीत गुनगुनाते हैं आसमान में तारों के बीच थोड़े सपने सजाते हैं, इस उदासी भरे चेहरे पर थोड़ी मुस्कुराहट लाते हैं जो कभी ना भूलें वैसी यादें सजाते हैं, कांधे पर सर रख दो बातें सुकून कि दोहराते हैं इस अनजान से शहर को अपना बनाते हैं, जो बीत गई वो बातें ना कर.... थोड़ी खुशियां सज़ा चल नई दुनियां बसाते हैं। ©Mudita Karan #touchthesoul #touchthesoul #touchthesoul #touchthesoul #touchthesky