इश्क में फना हो, मैं बादल हो जाऊॅं, तू करे जो मेरी आस मैं पागल हो जाऊॅं। तुम मुझपर असर की बात करते हो, मैं ठंडी रातों में लहराता आँचल हो जाऊॅं। एक प्रेमी के ख़्वाबों का घर, प्रेमिका की ऑंखों का काजल हो जाऊॅं। प्रेमाश्रय में बिखरी रोशनी सी, या तितली सी रंगीन और चंचल हो जाऊॅं। तुम इश्क की राहों के मुसाफ़िर, मैं तुम्हारे पीछे चुपके से पैदल हो जाऊॅं। 'भाग्य' नज़्मों की शौकीन अगर, मैं नज़्मों में बेहतर सी ग़ज़ल हो जाऊॅं। ❤️❤️❤️❤️❤️❤️4/5❤️❤️❤️❤️❤️ #kkबैरागीश्री #kkकविसम्मेलन3 #kkकविसम्मेलन #collabwithकोराकाग़ज़ #कोराकाग़ज़ #विशेषप्रतियोगिता #मेरी_बै_रा_गी_कलम