वो दुबला सा धंसी हुई आंखें लिए लेकिन आंखों में एक अजीब सी चमक लिए हथेली को दिखाते हुए उसने मुझसे पूछा साहब अभी कितने दिन जिंदा रहूंगा मैंने हंसते हुए कहा बाबाजी आप १०० वर्ष से ऊपर जिएंगे,यह सुनकर बाबाजी को जो आंतरिक मुस्कुराहट उत्पन्न हुई उसे मैं भी महसूस कर रहा था... वो दुबला सा धंसी हुई आंखें लिए लेकिन आंखों में एक अजीब सी लिए हथेली को दिखाते हुए उसने मुझसे पूछा साहब अभी कितने दिन जिंदा रहूंगा मैंने हंसते हुए कहा बाबाजी आप १०० वर्ष से ऊपर जिएंगे,यह सुनकर बाबाजी को जो आंतरिक मुस्कुराहट