सुनो मैं अगर कहूं मुझे तुमसे प्यार है तो यह झूठ नहीं होगा। यह कब हुआ मैंने बहुत सोचा और जाना कि यह वही एहसास है जो मुझे तब महसूस हुआ जब हम पहली बार मिले थे । एक अनजान रास्ते में आमने-सामने । तुम विंडो के पास बैठे थे और मासूमियत से बस देखे जा रहे कि हो क्या रहा है। तभी तुम्हारी नजर मुझ पर गई । मैं भी बस ऐसे ही बैठ गई सामने आकर और देखा कि कोई मुझे देख रहा है । मैंने शर्मा के नजर झुका कर, अपनी जुल्फें सवार ली जैसे कि इशारा किया हो तुम अच्छे लग रहे हो । हल्की सी मुस्कान , छोटी- छोटी आंखें वह चेहरा मुझे अक्सर याद आता है जब मैं उसी ट्रेन में बैठ जाती हूं और वह नजर नहीं आता है । तुम्हारी नजरें ऐसी थी की कह रही हो , सुनो तुम सबसे अलग लग रही हो । तुम जैसे मेरी तारीफ करना चाहते थे, पर अनजान इस ख्याल में की बात कैसे करें । मुझे याद है तुम्हारा वह टाइम का पूछना और कहना कि मैं पहली बार आया हूं । तरीका अच्छा था और उस दिन के बाद जाने आज फिर तुम्हारी याद आ गई मुझे । एक बार फिर वह लम्हा मेरी आंखों से गुजरा और मुझे लगा कि शायद मैं तुम्हें कुछ कहना चाहती थी जो कह नहीं पाई....... ©M Chauhan सफर में कोई अजनबी #लव_फीलिंग #क्रश #girl