बांध नहीं पाऊंगी, शब्दों में, कुछ अनछुए एहसासों को.. इसलिए गुचड़ मुचड़ करा और चल दी.. #गुचड़मुचड़ #भड़ास #यूंहीबेख्यालीमें दो पल की दिलों की दास्तान और फिर चल दिए (गीत)