तेरे इंतिजार में सोया काम जागा ,ज्यादा हूँ, अपने पीछे कम और तेरे पीछे भागा, ज्यादा हूँ मेरी तारीफ करने बाले हजार हैं और बुराई भी अपनी तारीफ तेरे मूहँ से सुनने को उताबला,ज्यादा हूँ अंधेरे से डर नही लगता न दुश्मनो से ,न अपनो से मगर हरदम तेरे छोड़ जाने के डर से डरता,ज्यादा हूँ तेरे घर -परिवार बाले तुझको बहोत चाहते हैं ना मगर मेरी जान तुमको मैं भी चाहता जान,ज्यादा हूँ ©vikas shah हिंदी हिंदी हिंदी #Lifelight