कुछ परतें खुलनी थी जख्मों की गिनती होनी थी कोई नकाब उतरना था सच निकलना था लेकिन वह मारी गई...। सच्चाई, उम्मीदें, इंसाफ सब लापता है । #उन्नाव #unnav