जो हुआ, नही होना चाहिए था, मगर ये कहां किसी के बस में था माँ प्रकृति का ये करूण रूदन भय सा वो हर नस नस में था । जो हुआ, वो नही होना चाहिए था मगर ये कहां, किसी के बस में था। शीत निद्रा से जागी धरती,जिसके रौद्र रूप के आगे, हर मानुष बेबस था। काश जो हुआ, वो नही होना चाहिए था..... ©Rooh_Lost_Soul #Uttarakhand #prayersforUttarakhand #nojoto #nojotohindi