वक़्त घूमता है बड़ी तेजी से ज़िन्दगी में एक वक्त ऐसा भी आता है अपना अज़ीज़ ही दुश्मन नज़र आने लगता है चापलूस अपना अज़ीज़ लगने लगता है वक़्त भी न जाने इंसान के कैसे कैसे इंतिहान लेता रहता है..…..... परीक्षा इंसान की