Full of Ambition and hope धधक उठी थी ज्वाला जो सत्तावन में, अब हमसे ना पाली जाएगी, बहुत रह लिए बँधे गुलामी में, आजादी अब और न टाली जाएगी। आजादी के परवाने जब से, भगत, लाला, सुखदेव और आजाद हुए, ना जाने कितनी उजड़ी कोखें, ना जाने कितने घर बर्बाद हुए। जख्म जो है दबा सीने में , बस अब हमसे ना संभाली जाएगी, बहुत रहे जकड़े इन जंजीरों में, आजादी अब और न टाली जाएगी। नहीं भूले हम रानी लक्ष्मी और ना भूलेंगे हम पाण्डे मंगल को, जिसने फूँका बिगुल और छेड़ दिया इस स्वतन्त्रता के दंगल को। है हुँकार, मातृभूमि की ललकार, एक वार भी ना अब खाली जाएगी, अब पार हुई बर्दाश्त की हद, आजादी अब और ना टाली जाएगी। क्या लिखूँ मैं गाथा उन वीरों की, उतने मुझ मूरख में लफ्ज़ नहीं हैं, रोम रोम है कर्जदार उन शूरों का, बयाँ कर सके इतने शब्द नहीं हैं। खयाल उनका अमर है “अमित”, स्मृति ना दिल से निकाली जाएगी, ली शपथ थी उन दिवानों ने, आजादी अब और ना टाली जाएगी।। ©Amit Pandey Aksh 75वें स्वतन्त्रता दिवस की आप सभी देशवासियों को ढेर सारी शुभकामनाएँ। #independenceday #aazadi #jaihind #krantikarikavi #salutetosoldiers #salamindia #fanofbhagatsingh #independenceday2021