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DDLJ 2.0 Chapter 6: The Conclusion शुरुआती भाग👉 #

DDLJ 2.0
Chapter 6: The Conclusion शुरुआती भाग👉 #hr_ddlj
(पहले उन्हें पढ़े वरना कहानी समझ नहीं आयेगी)

उत्सुकता, लालसा, जिज्ञासा या जो भी कहें, ये हम मनुष्यों का स्वभाव है। इसीलिए कहते हैं कि जिस मनुष्य में किसी चीज को जानने की जिज्ञासा नहीं वो मनुष्य मृत शरीर के समान है, हालांकि लोग अपनी जिज्ञासा के क्षेत्रों का निर्धारण खुद ही करते है। वो इस पंक्ति का इस्तेमाल अपने मतलब को मजबूत करने में करते हैं। और शायद जितनी जिज्ञासा आप लोगों के मन में है उससे कहीं ज्यादा जिज्ञासा उस रोज़ सिमरन के मन में थी, जब उसने उस पंखुड़ी को देखने पर छु
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Chapter 6: The Conclusion शुरुआती भाग👉 #hr_ddlj
(पहले उन्हें पढ़े वरना कहानी समझ नहीं आयेगी)

उत्सुकता, लालसा, जिज्ञासा या जो भी कहें, ये हम मनुष्यों का स्वभाव है। इसीलिए कहते हैं कि जिस मनुष्य में किसी चीज को जानने की जिज्ञासा नहीं वो मनुष्य मृत शरीर के समान है, हालांकि लोग अपनी जिज्ञासा के क्षेत्रों का निर्धारण खुद ही करते है। वो इस पंक्ति का इस्तेमाल अपने मतलब को मजबूत करने में करते हैं। और शायद जितनी जिज्ञासा आप लोगों के मन में है उससे कहीं ज्यादा जिज्ञासा उस रोज़ सिमरन के मन में थी, जब उसने उस पंखुड़ी को देखने पर छु