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कभी सर्दी कभी बारिश कभी दुपहर से गुजरे है, नही माल

कभी सर्दी कभी बारिश कभी दुपहर से गुजरे है,
नही मालूम हमे की हम किस शहर से गुजरे है।
अपने जीवन के रंजो गम दबाकर अपने सीने में,
लुटाया प्यार ही हमने जहाँ जिस शहर से गुजरे है।। #lutya pyar hi hmne jaha jis shahr se guzre h..
कभी सर्दी कभी बारिश कभी दुपहर से गुजरे है,
नही मालूम हमे की हम किस शहर से गुजरे है।
अपने जीवन के रंजो गम दबाकर अपने सीने में,
लुटाया प्यार ही हमने जहाँ जिस शहर से गुजरे है।। #lutya pyar hi hmne jaha jis shahr se guzre h..