Nojoto: Largest Storytelling Platform

ठेस लगी है मन को पर कहूँ किससे, कौन समझेगा ये दर्द

ठेस लगी है मन को पर कहूँ किससे,
कौन समझेगा ये दर्द, ये लफ्ज खर्च करूँ किसपे..
हमे लेकर  लोग सियासत की लड़ाई में व्यस्त है,
अपनो की हिफाजत की फरियाद मैं करूँ किससे?

आया है मौत का पैगाम मैं सफर में हूँ,
चल रहा हूँ हर रोज पर अभी शहर में हूँ..
थक गए है पाँव अब चलूँ कैसे?
ठेस लगी है मन को पर कहूँ किससे?

जी तोड़ मेहनत मेरी घर उन्होंने बनाये,
मैं हजारों में बिकता रहा वो करोड़ो कमाये..
समझ कर अपना जिन्हें हम बनाते रहे,
वो आये कुछ न काम ये कहूँ कैसे..
ठेस लगी है मन को पर कहूँ किससे...

....©हिमांशी सिंह (प्रवासी मजदूरों की व्यथा) #commonman #दर्द #ठेस #Nojoto  Harsh Dubey sheetal pandya मेरे शब्द Waffa की तलाश ...Waffaon के साथ... A दिल... मुझको तू चाहिए  Mr. MANEESH  आशुतोष यादव
ठेस लगी है मन को पर कहूँ किससे,
कौन समझेगा ये दर्द, ये लफ्ज खर्च करूँ किसपे..
हमे लेकर  लोग सियासत की लड़ाई में व्यस्त है,
अपनो की हिफाजत की फरियाद मैं करूँ किससे?

आया है मौत का पैगाम मैं सफर में हूँ,
चल रहा हूँ हर रोज पर अभी शहर में हूँ..
थक गए है पाँव अब चलूँ कैसे?
ठेस लगी है मन को पर कहूँ किससे?

जी तोड़ मेहनत मेरी घर उन्होंने बनाये,
मैं हजारों में बिकता रहा वो करोड़ो कमाये..
समझ कर अपना जिन्हें हम बनाते रहे,
वो आये कुछ न काम ये कहूँ कैसे..
ठेस लगी है मन को पर कहूँ किससे...

....©हिमांशी सिंह (प्रवासी मजदूरों की व्यथा) #commonman #दर्द #ठेस #Nojoto  Harsh Dubey sheetal pandya मेरे शब्द Waffa की तलाश ...Waffaon के साथ... A दिल... मुझको तू चाहिए  Mr. MANEESH  आशुतोष यादव