तूने मुझे ठंडी रातों में लिहाफ न दिया देख आज मैंने सबको तेरे खिलाफ कर दिया हथियार भी न उठाया इंतकाम ले लिया शायर आयुष कुमार गौतम हथियार न उठाया इंतकाम ले लिया