ज़रूर चलता हर वक्त़ तेरे साथ हर कदम़, गर तूने मुझसे मेरा ज़मीर नहीं बस वक्त़ माँगा होता ! साथ चलने से परहेज़ नहीं करूँगा बस तुम आगे-पीछे नहीं, बिलकुल बराबर मेरे साथ चलना #साथ #ज़मीर #इश्क़