बेवफ़ा सी ज़िंदगी आज भी बिखरी पडी हैं... उपर से फुलों से दिखने वाले रास्ते... आज भी काटों... कि सेज सजाये सामने खडें है.... 'ए जिंदगी 'तेरी खेलनेकी कि तरकिब तो बतादे... शायद हम हि हैं...जो किसिके खिलोनोकी तरह बिखरे पडे हैं... #बेवाफाजिंदगी