Nojoto: Largest Storytelling Platform
vickyvikas1626
  • 54Stories
  • 199Followers
  • 345Love
    0Views

Vicky Vikas

बस कुछ पालो में ऐसा अहसास दे गए , वो टुटा , वो बिखरा ,एक अधूरा सा ख्वाब दे गए , चले गए ,उन्हें जंहा जाना था ! बस "एक दिन की मोहब्बत " शायरी को हमारी नाम दे गए !

  • Popular
  • Latest
  • Video
2dbe02219cbc66f83891ce955aa44e7c

Vicky Vikas

I am alone छूटे नहीं छूटता रहा... तेरे इश्क़ का खुमार... 
तुझसे छूटे... तेरी यादो के बीमार हो गए हैँ
अँधेरे की चादर भी रोक नहीं पाती... 
तेरी यादो...के आशिक़ शायद... महताब हो गए हैँ !
                                              ---विक्की #teri #yaade
2dbe02219cbc66f83891ce955aa44e7c

Vicky Vikas

तेरी हवाओं का दरिया अब साथी नहीं मेरे, 
टप -टप बरस रही तन्हाइयों को समंदर बना लूंगा !

उम्र भर तो बटोरा इंतज़ार है मैंने... 
तेरी मिली सहर को... बची उम्र बना लूंगा !

2dbe02219cbc66f83891ce955aa44e7c

Vicky Vikas

होश ने रुबाबो मे ढलना नहीं सीखा... 
बदले साल...बदले अपने... 
बस...आसमानो ने बदलना नहीं सीखा !

2dbe02219cbc66f83891ce955aa44e7c

Vicky Vikas

बेरोजगार शायर हूं, 
मुझे तेरे सिवा कोई काम कँहा? 
हाल इ दिल कागजों पे बयान कर लेता हूं, 
चाँद से मोहब्बत... मेरी औकात कँहा?

2dbe02219cbc66f83891ce955aa44e7c

Vicky Vikas

Republic day quotes in hindi ख़त लाल गया है उसके घर पे, 
कर्जा वतन का उतर गया है... उसके सर से !
                               - भारतवासी

2dbe02219cbc66f83891ce955aa44e7c

Vicky Vikas

इंतेज़ार तो कर ले... 
तुम आओगे नहीं, 
ये यकीन कैसे करें?

2dbe02219cbc66f83891ce955aa44e7c

Vicky Vikas

उस उम्र की शक्ल पीली पड़ गई है 
भागते-भागते मेरे खाबो के पीछे,
वो रूह थक गई है !
छू कर मुझको जो हवा बहती थी 
आज वो कंही भटक गई है !
                    - vicky उस उम्र की शक्ल पीली पड़ गई है 
भागते भागते मेरे खाबो के पीछे,
वो रूह थक गई है !
छू कर मुझको जो हवा बहती थी 
आज वो कंही भटक गई है !

उस उम्र की शक्ल पीली पड़ गई है भागते भागते मेरे खाबो के पीछे, वो रूह थक गई है ! छू कर मुझको जो हवा बहती थी आज वो कंही भटक गई है !

2dbe02219cbc66f83891ce955aa44e7c

Vicky Vikas

उस समय से दूर आया हूं 
फिरसे तेरे करीब आया हूं 
आज फिर तेरे नशे मे ये कलम झूमेगी 
कागज़ मेरे आँसुओ को समेटेगा 
आज फिर तुझको मय मे पीकर कर आया हूं !
                                          -vicky

2dbe02219cbc66f83891ce955aa44e7c

Vicky Vikas

शहर अब उजाड़ दिए गए हैँ 
पंछी उड़ा दिए गए हैँ... 
कुछ भटक गएँ है रान्हो मे, 
कुछ सलामत पंहुचा दिए गए हैँ !

2dbe02219cbc66f83891ce955aa44e7c

Vicky Vikas

काम कोई ना आया मैं, 
इस तरह बेकार हो गया हूं !
पलटते - पलटते पन्ने तेरी यादो के, 
गुजरा अखबार हो गया हूं !

लिखता हूं तुझे...फिर मिटा देता हूं 
इस कारोबार मे माहिर हो गया हूं !
ना अपना,  ना मोहब्बत का... 
काम कोई ना आया मैं!
इस तरह बेकार हो गया हूं !

loader
Home
Explore
Events
Notification
Profile