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ramray1626544585734
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Ram babu Ray

हवा महल के पिछे जयपुर

https://twitter.com/Ram_babu_ray?s=08

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Ram babu Ray

किसी को इजाजत
किसी को खुलेआम मिलता हैं

फ़रवरी में हुस्न की दिलरुबा हुकूमत
किसी को गुलाम मिलता हैं..!!

©Ram babu Ray किसी को इजाजत
किसी को खुलेआम मिलता हैं

फ़रवरी में हुस्न की दिलरुबा हुकूमत
किसी को गुलाम मिलता हैं..!!

किसी को इजाजत किसी को खुलेआम मिलता हैं फ़रवरी में हुस्न की दिलरुबा हुकूमत किसी को गुलाम मिलता हैं..!! #शायरी

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Ram babu Ray

होती है कैसी मोहब्बत मैं भी करके देखूंगा
आशिकी में जो मरते हैं मैं भी मरके देखूंगा

कुछ पता ना चला रहा मोहब्बत का
अब दिल में उतर कर देखूंगा

मिलेगी मोहब्बत फूल बनकर खिलेगी
मेहबूब की बाहों में भरकर देखूंगा

मोहब्बत में लोग जलते हैं कैसे
मैं तो मोम बनकर पिघलकर देखूंगा

दिये की तरह अब तो जलकर देखूंगा
जीते जी मोहब्बत जीभरकर देखूंगा..!!

©Ram babu Ray होती है कैसी मोहब्बत मैं भी करके देखूंगा
आशिकी में जो मरते हैं मैं भी मरके देखूंगा
कुछ पता ना चला रहा मोहब्बत का
अब दिल में उतर कर देखूंगा
मिलेगी मोहब्बत फूल बनकर खिलेगी
मेहबूब की बाहों में भरकर देखूंगा

मोहब्बत में लोग जलते हैं कैसे

होती है कैसी मोहब्बत मैं भी करके देखूंगा आशिकी में जो मरते हैं मैं भी मरके देखूंगा कुछ पता ना चला रहा मोहब्बत का अब दिल में उतर कर देखूंगा मिलेगी मोहब्बत फूल बनकर खिलेगी मेहबूब की बाहों में भरकर देखूंगा मोहब्बत में लोग जलते हैं कैसे #ज़िन्दगी

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Ram babu Ray

भटक रहा हूँ द्वार दिखा दो
इस जग में प्रभु सबको उबार दो

विषमता की बीज जहरी बो रहे
आज यौवन हर मानव खो रहे

सबकी शक्ति व्यर्थ हो रहे
नपुंसक बनकर मानव रो रहे

शुभ विचारों का पुनः विस्तार हो
भावना भक्ति का आधार हो

प्रभु इस जग में हम आगे बढ़े
आपके पथ पर निरंतर चले.!

©Ram babu Ray
  भटक रहा हूँ द्वार दिखा दो
इस जग में प्रभु सबको उबार दो

विषमता की बीज जहरी बो रहे
आज यौवन हर मानव खो रहे

सबकी शक्ति व्यर्थ हो रहे
नपुंसक बनकर मानव रो रहे

भटक रहा हूँ द्वार दिखा दो इस जग में प्रभु सबको उबार दो विषमता की बीज जहरी बो रहे आज यौवन हर मानव खो रहे सबकी शक्ति व्यर्थ हो रहे नपुंसक बनकर मानव रो रहे #शायरी

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Ram babu Ray

मेरे दिल में जो प्यार हैं

उसके गालों पर लगाना मुझे गुलाल हैं..!!

©Ram babu Ray
  मेरे दिल में जो प्यार हैं

उसके गालों पर लगाना मुझे गुलाल हैं..!!

मेरे दिल में जो प्यार हैं उसके गालों पर लगाना मुझे गुलाल हैं..!! #शायरी

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Ram babu Ray

.__✍
#मैं_तुम_संग होली खेलना चाहता हूँ
तुम्हें इस तरीके से रंग लगाना चाहता हूँ..!!

©Ram babu Ray .__✍

#मैं_तुम_संग होली खेलना चाहता हूँ

तुम्हें इस तरीके से रंग लगाना चाहता हूँ..!!


#RR✍️

.__✍ #मैं_तुम_संग होली खेलना चाहता हूँ तुम्हें इस तरीके से रंग लगाना चाहता हूँ..!! RR✍️ #शायरी #रामबाबू_राय

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Ram babu Ray

आओ साथी हम पतंग उड़ाते है
जयपुर का आसमान हम तुम्हें दिखाते है

एक नही यहाँ हजार उड़ रहे
चरखी मांझा संग पतंग खिल रहे

हल्ला गुल्ला शोर मच रहा
पतंग के पीछे होर मच रहा

एक के पीछे एक दौड़ रहा
एक पतंग पर हजार दौड़ रहा

आज दीवानगी हद हो रही
छत पर बूढ़े जवान हो रहे..!!

©Ram babu Ray
  आओ साथी हम पतंग उड़ाते है
#जयपुर का आसमान हम तुम्हें दिखाते है

एक नही यहाँ हजार उड़ रहे
चरखी मांझा संग पतंग खिल रहे

हल्ला गुल्ला शोर मच रहा
पतंग के पीछे होर मच रहा

आओ साथी हम पतंग उड़ाते है #जयपुर का आसमान हम तुम्हें दिखाते है एक नही यहाँ हजार उड़ रहे चरखी मांझा संग पतंग खिल रहे हल्ला गुल्ला शोर मच रहा पतंग के पीछे होर मच रहा #शायरी #शब्दनिधि #RR✍

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Ram babu Ray

साची बोलू कलम म्हारो थोड़ों टेढ़ो हैं.✍

©Ram babu Ray साची बोलू कलम म्हारो थोड़ों टेढ़ो हैं..

साची बोलू कलम म्हारो थोड़ों टेढ़ो हैं.. #ज़िन्दगी

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Ram babu Ray

जयपुर की बड़ी चौपड़ पर
#दो_दुकान_हैं_मेरे

हवा महल के झरोखों से
वहाँ मस्त नजारे दिखते सारे

करो इशारे अब मोना जी
एक दे दूं या ग्यारह भेजूं

दिल करता है पूरे बारह भेजूं
बोलो मोना जी आज भेजूं

#या__कल__भेजूं
दे दो इजाज़त कब भेजूं

पैसों की फिक्र न करूँगा
देने की आप जिकर मत करना

अपना पता मुझे मेल करना
क्योंकि ट्विटर पर विश्वास नहीं है

ट्विटर वाले होते सब फर्जी
दूसरों के काम में खुद की गर्जी..!!

©Ram babu Ray जयपुर की बड़ी चौपड़ पर
#दो_दुकान_हैं_मेरे

हवा महल के झरोखों से
वहाँ मस्त नजारे दिखते सारे

करो इशारे अब मोना जी
एक दे दूं या ग्यारह भेजूं

जयपुर की बड़ी चौपड़ पर #दो_दुकान_हैं_मेरे हवा महल के झरोखों से वहाँ मस्त नजारे दिखते सारे करो इशारे अब मोना जी एक दे दूं या ग्यारह भेजूं #शायरी #या__कल__भेजूं

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Ram babu Ray

कब तक दुर्योधन जीतेगा
कब-तक खुशियाँ मनायेगा

कुरुक्षेत्र के रणभूमि में
कब-तक संग्राम रचायेगा

बिन कवच कुंडल के कोई
कब-तक वक्ष पर घाव खाएगा

जीवन की इस मरुभूमि पर
कब-तक जीवन गवायेगा

एक दिन हौसला कदम चूमेगी
हार जीत का भाव छोड़ दे

हृदय को गीता छांव ओढ़ ले
जीवन निश्चित विजय होगा

मन को ईश्वर से अब जोर दे
तन को ईश्वर को तू छोड़ दे..!!

©Ram babu Ray कब तक दुर्योधन जीतेगा
कब-तक खुशियाँ मनायेगा

कुरुक्षेत्र के रणभूमि में
कब-तक संग्राम रचायेगा

बिन कवच कुंडल के कोई
कब-तक वक्ष पर घाव खाएगा

कब तक दुर्योधन जीतेगा कब-तक खुशियाँ मनायेगा कुरुक्षेत्र के रणभूमि में कब-तक संग्राम रचायेगा बिन कवच कुंडल के कोई कब-तक वक्ष पर घाव खाएगा #ज़िन्दगी

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Ram babu Ray

ना गम के आसूं बहते थे
ना थम के आसूं बहते थे

बचपन के नादानी में
मस्त-मगन के आंसू बहते थे

ना कभी कोई गम में रहता था
सब अपनी मस्त मगन में रहता था

वो अल्ल-हर थी बचपन के दिन
मेरे छोटे उम्र मस्त मग्न के दिन

ना कोई मन को दिल पर लेता था
ना कभी कोई गहरा घाव देता था

ना कोई चेहरा देखा जाता था
कुछ पहरा देखा जाता था

ना कोई गम किसी के मन में
ना कोई वहम किसी को हमसे..!!

©Ram babu Ray ना गम के आसूं बहते थे
ना थम के आसूं बहते थे

बचपन के नादानी में
मस्त-मगन के आंसू बहते थे

ना कभी कोई गम में रहता था
सब अपनी मस्त मगन में रहता था

ना गम के आसूं बहते थे ना थम के आसूं बहते थे बचपन के नादानी में मस्त-मगन के आंसू बहते थे ना कभी कोई गम में रहता था सब अपनी मस्त मगन में रहता था #शायरी

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