Find the Latest Status about उधेड़बुन का वाक्य प्रयोग from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, उधेड़बुन का वाक्य प्रयोग.
Poonam
बहुत कुछ खो दिया कुछ पाने की तलाश में भटकते रहे दर-बदर खुद अपनी ही तलाश में ये जो फुर्सत की शामें हैं अक्सर ले जाती है बिते दिनों में और उलझा जाती है कुछ सवालों में क्या थे हम और क्या हो गए जिंदगी की उधेड़बुन में ©Poonam #शामे #उधेड़बुन
S ANSHUL'यायावर'
लगता है अभी तो कुछ लिखा नहीं, लगता है अभी तो कुछ कहा नहीं, किसी बात को दिल से लगा बैठा, कोई बात दिल से जा लगी। देखना फ़िज़ूल था सपना, ये हकीकत मैं जान चुका। हाल ए दिल के बाजार में, बैठा हूं ठगा हुआ। अब रंग,न तरंग ही शेष बची, कुछ इस कदर दुनिया से मै जुदा हुआ। अब खुशी ना गम महसूस होता है, ना आतिश,ना बारिश ही। खोया रहता हूं कल्पनाओं के जाल में, किसी उधेड़बुन में फंसा हुआ। #उधेड़बुन #reading
Mohan Sardarshahari
जुबान मिलाये जुबान बिछुड़ाये जुबान बुझाये ज़ुबान लगाये जुबान उठाये जुबान गिराये ज़ुबान रहम जुबान कर्म जुबान बंद तो रहे भ्रम जुबान खुले तो कहां शर्म जुबान का कम उपयोग है अद्भुत योग ज्यादा उपयोग परेशानी का प्रयोग।। ©Mohan Sardarshahari परेशानी का प्रयोग
परेशानी का प्रयोग
read moreप्रीति प्रभा
ज़िन्दगी की कैसी ये उधेड़बुन है हर लम्हा को बुनते है सदियों की आस में ज़िन्दगी में ये कैसी कश्मकश है लोग खो दिए अपने कमाने में कब हो गए तन्हा ये कोई ना जाने ढूंढ़ने से भी अब नज़र नहीं आते कोई अपने इस ज़माने में ज़िन्दगी की कैसी ये उधेड़बुन है मन में उठी कैसी ये धुन है ग़म को उधेड़ते है खुशियों की प्यास में एक नई उम्मीद बांधते है मंज़िल की राह में अपने कुछ ख़्वाबों को दफ़नाते है कुछ बेहतर पाने की चाह में.... - प्रीति प्रभा ©Preeti Prabha उधेड़बुन #प्रीतिप्रभा #ankahibaatein__ #हिंदी_कविता #WorldPoetryDay #positive_vibes #writer
उधेड़बुन #प्रीतिप्रभा #ankahibaatein__ #हिंदी_कविता #WorldPoetryDay #positive_vibes #writer
read moreEk villain
मानवता ज्ञानी मनुष्य के अंत करण में दया एवं संवेदना भाव का होना यह भाव मनुष्य का अन्य मनुष्यों और दूसरे तमाम अन्य जीवो के लिए होता है मानवता की भावना रखने वाले मनुष्य सदैव दूसरे की भलाई के लिए प्रस्तुत रहते हैं मनुष्य ही संसार में ऐसे प्राणी है जो सभी भावनाओं को समझ सकते हैं मनुष्य में असाधारण मानवता के सबसे उत्कृष्ट उदाहरण में से एक इस प्रकार चरित्र किया गया है मानवता का अर्थ जब भी और जहां भी संभव हो दूसरे की देखभाल करना और उनकी मदद करना है भारतीय दार्शनिक परंपरा के सशक्त प्रतिनिधि जो कृष्णमूर्ति का कहना था कि अपने जो कुछ भी परंपरा देश और काल से जाना है उसे मुक्त होकर ही अपने सच्चे अर्थ में मानव बन पाएंगे मनुष्य की सर्वप्रथम मनुष्य होने से ही मुक्ति की शुरुआत होती है किंतु आज का मानव हिंदू बौद्ध ईसाई मुस्लिम अमेरिका अरबिया चीनी होने जैसे पहचान के भरम में फस गया है सामाजिक सहचारी में ही मानव में करुणा से सुनता और प्रेम जैसे गुणों का विकास होता है मानवता का विकास इन गुणों की महत्वपूर्ण भूमिका होती है इस संदर्भ में खलील जिब्रान ने कहा है कि मानवता का वास्तविक स्वरूप शांतिपूर्ण हृदय में है वाचन मन में नहीं धरती पर प्रेम आत्मीयता एवं दूसरों के हित में लगे रहने ही पूर्ण है इसलिए लोगों को मानवता का भाव प्रसिद्ध कराते हुए प्रेम संदेश का प्रसार करना चाहिए किसी व्यक्ति से देख भेदभाव नहीं करना चाहिए समाज को मानवता से खींचने की आवश्यकता है मानवता से खींचा हुआ समाज ही एक आदर्श समाज की आधारशिला बन सकता है इससे हमारे समाज को विभाजन करने का शिकार बना दिया है यदि मानवता भाव के माध्यम से समाज में समरसता का सूत पात्र होती है तो इससे सामाजिक शांति सुनिश्चित होगी यही शांति समृद्धि की पहली शिर्डी बनती है ©Ek villain #मानवता का प्रयोग #govardhanpuja
#मानवता का प्रयोग #govardhanpuja
read moreShayar Samar S M
शब्दों का प्रयोग बड़ा सोच समझ कर किया जाता है क्योंकि एक शब्द से कोई अपना तो एक शब्द से कोई बेगाना हो जाता है ©Shayar Samar S M शब्दों का प्रयोग #Music
शब्दों का प्रयोग #Music
read morewriter abhay
जंग में लड़ने वाले सब खार गये, दुश्मन जीत आये, दोस्त हार गये. कल तक मिलते थे मेरा हाल पूछने, मरते ही मेरे घर बनके कर्ज़दार गये. खार का प्रयोग - राख़
खार का प्रयोग - राख़
read more