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Stories related to वृक्ष शब्द रूप

Ram Prakash

#good_night शब्द शब्द

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White शब्द शब्द वाणों से हृदय
और न भेदे
कोई
निर्णीत मामलों को
अबसे और न
कुरेदे
कोई

©Ram Prakash #good_night शब्द शब्द

Poonam Ahlawat

जिंदगी के रूप

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Hari Verma

#sad_quotes वृक्ष

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White  वृक्ष 
बिन वृक्षों के  कभी नहीं बरसेगा पानी ।
बिना वृक्ष के हवा ना देगी जिन्दगानी।।
 बिन वृक्षों के न छाएंगे शीतल बादल ।
बिन वृक्ष जगत जलेगा उष्ण अग्नि में प्रतिपल ।।
वृक्ष बिना जन जीवन होगा काहिल।
 मत बन जान बनकर बुझ कर तू  जाहिल ।।

©Hari Verma #sad_quotes वृक्ष

Parasram Arora

बदलता रूप

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White जैसे जैसे वक्त बीता और वक्त बदलता गया.. हम लोगो ने भी इबादत और  पूजा के त्तथाकथित  ढंग मे  बदलाव कर दिया हैँ

क्योंकि इबादत के ढंग बदलने से पहले हमारे धर्म और मज़हबो ने भी अपना रूप बदल लिया है  तभी तो आज आये दिन हमें 
खून खराबो और नफरतों के हिंसक रूप से मुख़ातिब  होना पड़ता है 
 झूझना  पडता है

©Parasram Arora बदलता रूप

Madhusudan Shrivastava

#गजल मुस्कुरा के रूप

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White राहों में जो मिलें उन्हें अपना बना के चल 
दुश्मन भी हों तो उनको गले से लगा के चल

कुर्सी पे आज वो हैं तो उनको सलाम है
अपना भी दिन आएगा ये उनको बता के चल

सांसें उखड़ रहीं हैं औ बैरी हुआ जहां 
दुश्मन हुई है आज ये आब ओ हवा के चल

पत्ते दरख़्त से गिरे तो आएंगे नए
लौटेगा दिन सभी का रख ये हौसला के चल

सुनने सुनाने की है ये महफ़िल अता करो 
गीत ओ ग़ज़ल या नज़्म रूबाई सुना के चल

जो दोस्त थे वो दुश्मनी की राह चल पड़े 
दौर ए जहां यहां का है दुश्मन हुआ के चल

रस्ते सभी खुलेंगे जो तुम मुस्कुराओगो 
दुश्मन भी साथ देंगे तेरा मुस्कुरा के चल

©Madhusudan Shrivastava #गजल 
मुस्कुरा के रूप

Akriti Tiwari

वृक्ष के ऊपर कविता। प्रेरणादायी कविता हिंदी

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White क्या होता है एक वृक्ष का दर्द 


जब से जन्म हूं एक पैर पर खड़ा हूं ,
सहकार सारे आंधी तूफान और धूप 
इंसानों के काम आता हूं। 


अपने इच्छा से या मानव की इच्छा से उगाया जाता हूं, 
जरूरत पड़ती जब मेरी मानो को काटकर 
मेरी शाखों को कभी यज्ञ में तो 
कभी शमशानों में जलाया जाता हूं।
इंसानों के हर जरूरत में काम आता हूं 


बचपन से लेकर बुढ़ापा तक मेरे साथ समय बीतता है, 
फिर भी मेरी जरूरत  समझ नहीं पता है।
बेजुबान हूं देखकर इंसानों की खुशी को
अपना दर्द छुपा लेता हूं।
इंसानों के हर जरूरत में काम आता है 


मिले समय तुम मुझ पर भी ध्यान देना, 
कमी होगी मेरी तो प्रकृति पर संकट गहराएगी।
बारिश नहीं होगी तो फैसले बर्बाद हो जाएगी 
तो तुम भूखे मर जाओगे, उससे भी नहीं तो 
तुम्हें ऑक्सीजन की जरूरत पड़ जाएगी 
करोगे मेरी देखभाल तो, 
प्रकृति में संकट नहीं आएगी l
अंत में इंसानों के हर जरूरत में काम आऊंगा l

©Akriti Tiwari वृक्ष के ऊपर कविता।  प्रेरणादायी कविता हिंदी

Ajit Singh "Prince"

#Sad_Status शब्द बाण।

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Ghumnam Gautam

रूप सुहाना कर देती है दूर ठिकाना कर देती है
माँग की ये सिंदूरी रेखा कितनों को बेगाना कर देती है

©Ghumnam Gautam #सिन्दूर 
#रूप 
#ghumnamgautam

Mahesh Patel

सहेली... शब्द.. लाला...

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Shishpal Chauhan

#आओ वृक्ष बचाएं #शेयर_जरूर_करें #🎋🌴🌳🌲🎄

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