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Sudeep Keshri✍️✍️
जीने के लिए ऐसी संघर्ष भी देखनी होगी... किसने सोचा था। दुनिया के ताकतवर देशों को ऐसे परेशान होना होगा... किसने सोचा था। लोगों को लॉक डाउन जैसे नियम का पालन करना होगा... किसने सोचा था। किसी के छू देने मात्र से ऐसी बीमारी... किसने सोचा था। किसी दूसरे के छुअन की बात तो छोड़ो साहेब... खुद के हाथों को संभाल के रखना पड़े... न अपने होठों को छूना है न आंखों को... किसने सोचा था। किसने #सोचा था #Corona
S ANSHUL'यायावर'
किसने ऐसा सोचा था कि , कभी ऐसा वक़्त भी आएगा। इंसान का इंसान से , मिलना दूभर होजाएगा। किसने सोचा था कि , वक़्त ऐसा वक़्त दिखलायेगा, किसने सोचा था कि सांसे लेना भी मुश्किल होजाएगा। किसने सोचा था कि, एक अदृश्य शत्रु, अपनों को अपनों से ,दूर करजाएगा। किसने सोचा था। किसने सोचा था कि, जीने की जद्दोजहद में कोई, इतना कष्ट उठयाएगा। किसने सोचा था कि, ऐसा कुछ होजाएगा। किसने सोचा था ©S ANSHUL'यायावर' किसने सोचा था #covidindia
किसने सोचा था #covidindia
read moreGeeta Sharma
Good morning ©Geeta Sharma ### किसान आंदोलन के बारे लिखा गया था ।
### किसान आंदोलन के बारे लिखा गया था ।
read moreRaj
किसने सोचा था ऐसे दिन भी आएंगे!!! प्रकृति में सुंदरता छाई ,देखने कहां जा पाएंगे सड़कें खाली ,लॉन्ग ड्राइव को तरस जाएंगे कपड़ों से फूल है अलमारी, पहनने के अवसर कब आएंगे हवा में हैं ताजगी , लेने को तरश जाएंगे किसने सोचा था ऐसे भी दिन आएंगे !!! साल महीने यूं ही बीत जाएंगे, तीज त्यौहार कहां मना पाएंगे कितने आएंगे कितने जाएंगे, एक से भी ना हम मिलने जा पाएंगे स्कूल कॉलेज संबं बंद, ऑनलाइन पढ़ाये जाएंगे खुश रहने की आदत थी, मुस्कुराना भी भूल जाएंगे किसने सोचा था ऐसे दिन भी आएंगे ।। मंदिरों में ताले लटके दर्शन को तरस जाएंगे कलियां फूल बन चुके तोड़ने कैसे जाएंगे भगवान को छू नहीं सकते ऐसे भी नियम बन जाएंगे किसने सोचा था ऐसे दिन भी आएंगे ।। छुट्टियां मिली मायके भी ना जा पाएंगे आम पके वो भी ना खा पाएंगे बंद कमरों में बस पंखे की हवा खाएंगे सोच सोच के बस ये बरस बिताएंगे किसने सोचा था ऐसे भी दिन आएगे।। #राज# #किसने सोचा था ऐसे दिन आएंगे
#किसने सोचा था ऐसे दिन आएंगे
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