Find the Latest Status about जगा के from top creators only on Nojoto App. Also find trending photos & videos about, जगा के.
ARBAJ Khan
White शैतान की दासतान वे कहते है। जब आप आश की एक छोटी - सी उमीद निराशा में बदल जाती है। तब काली दुनिया से कोई हमारे लिए आएसान करने के लिए तैयार रहता है। फिर वों कहते है। ना हर आएसान की कोई न कोई कीमीत होती है। ©ARBAJ Khan काली दुनिया के शैतान के खोफ
काली दुनिया के शैतान के खोफ
read moreSuneel Nohara
White अपनी आँखें सेंकने के लिए, मुद्दे उछाल दिए जाते हैं।फिर उन्ही मुद्दो को दबाने के लिए नोहरा , चंद चांदी के सिकके उछाल दिए जाते हैं। ©Suneel Nohara चांदी के सिकके,
चांदी के सिकके,
read moreYogesh Vikrant
White पलट कर देखता हूं जब गुजरे हुए जीवन के पन्नों को, कई खिस्से हैँ बचपन के हैँ बचपन मे ले जाते कभी मैं मुस्कुराता हूं तो कभी मैं खिलखिलाता हूं, कई पन्ने जो जीवन के,जिसे जीना नहीं चाहता सहम जाता हूं मैं जब वो पल याद आते हैँ, जब खुल जाते है कुछ पन्ने अपनी दोस्ताना के जी करता है जी लूँ वही आवारगी भरा पल बहुत कुछ छुट् गया पीछे कई पन्ने जताते हैँ अब तो वो यादों के गुलदस्ते बन, कभी गुदगुडाते हैँ कभी नयन नम कर जाते हैँ l ©Yogesh Vikrant यादों के पन्ने
यादों के पन्ने
read moreDrjagriti
White बेरंग ना होते तो रंगों की खूबसूरती कैसे समझते होती ना अगर निराशा तो आशा कैसे महसूस होती नाउम्मीदी ने अगर तोड़ा है तो उम्मीद ने दामन भी कहां छोड़ा है आज पराजय है तो कल विजय भी सुनिश्चित है हर एक रात के बाद दिन का उजाला है। कोई भी अकेला नहीं हर भाव के दो चरित्र है।यहां दुख है तो सुखों की भी छाया है। जीवन आने और जाने की परंपरा है इसे हम सबको निभाना है। ©Drjagriti #जीवन के तालमेल
#जीवन के तालमेल
read moreDR. LAVKESH GANDHI
खुशियों के पल जिंदगी में कभी-कभी खुशियों के पल आते ही रहते हैं ज़ब नाज करे दुनियाँ वह पल आ ही जाते हैं | ©DR. LAVKESH GANDHI #खुशियों के पल # #जिंदगी के हसीन पल #
खुशियों के पल # जिंदगी के हसीन पल #
read morenisha Kharatshinde
जगा अन् जगूद्या सध्या पन्नाशीही पार करणे खूप अवघड झालंय अन् आत्महत्या करणे अगदी सोपं झालंय पंचवीस वर्षाच्या नात्याला किंमत राहिली नाही दोन वर्षाच्या प्रेमासाठी कुणी आईचाही उरला नाही त्या रागापुढे सर्वच शून्य अहंकाराने डाव साधला वेदनांनी आवाज न करता भावनांचा गळा घोटला दुनियेचं हसू होईल अन् इज्जतीचा पंचनामा समजून घेऊ जग म्हणतं अन् पडद्याआडून जाहीरनामा इथं कुणी कुणाची निंदा करते स्तुती मात्र क्वचित तिरस्काराने एकमेकांच्या संपली माणुसकीही निश्र्चित अफवांवर पांघरुण घालणारे पडतात फसवणुकीत बळी माहेर आहेर संपलय आता जन्मत:च खुंटते कळी जगा अन् जगूद्या सर्वा या महामारीच्या परिस्थितीत अत्यल्प आयुष्य उरलय बदल करा मनस्थितीत ✍️ निशा खरात/शिंदे (काव्यनिश) ©nisha Kharatshinde जगा अन् जगू द्या
जगा अन् जगू द्या
read moreRajni Vijay singla
White हे काली मां! यह कैसा ? तिरस्कार ...हाहाकार हो गया देवियों के देश में ही ????? रक्षक शिकार हो गया !!!! ©Rajni Vijay singla रक्षक के भक्षक
रक्षक के भक्षक
read more