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Bazirao Ashish

पूछकर मेरा धर्म कातिलों ने कत्ल कर दिया। तुमसे कातिलों का मज़हब आज तलक न ढूँढा गया। --------- #28कश्मीरी_सनातनियों_की_हत्या 😞😞😞

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पूछकर मेरा धर्म
कातिलों ने कत्ल कर दिया।
तुमसे कातिलों का मज़हब
आज तलक न ढूँढा गया।
---------
◆आशीष●द्विवेदी◆
#28कश्मीरी_सनातनियों_की_हत्या 
😞😞😞

©Bazirao Ashish पूछकर मेरा धर्म
कातिलों ने कत्ल कर दिया।
तुमसे कातिलों का मज़हब
आज तलक न ढूँढा गया।
---------


#28कश्मीरी_सनातनियों_की_हत्या 😞😞😞

Keshav Kamal

अपने मासूम सा दिल को लेकर शहर घुमने निकले थे हम... हमें क्या मालूम था कि ये कातिलों का शहर हैं यहाँ नजरों से भी कत्ल किये जाते हैं.... ©Kesh

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अपने मासूम सा दिल को लेकर 
शहर घुमने निकले थे हम...
हमें क्या मालूम था कि ये कातिलों का शहर हैं 
यहाँ नजरों से भी कत्ल किये जाते हैं...

©Keshav Kamal अपने मासूम सा दिल को लेकर शहर घुमने निकले थे हम...
हमें क्या मालूम था कि ये कातिलों का शहर हैं यहाँ नजरों से भी कत्ल किये जाते हैं....
©Kesh

Yashpal singh gusain badal'

#moonnight कामनाओं  का  अंतहीन  सफर , आशाओं   की    घटती     आयु  मोह   का      कुचैला     आँचल तृष्णा   का    बढ़ता    साम्राज्य 

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कलयुग
कामनाओं  का  अंतहीन  सफर ,
आशाओं   की    घटती     आयु 
मोह   का      कुचैला     आँचल
तृष्णा   का    बढ़ता    साम्राज्य 
बताता   है    ये    कलयुग    है ।

भावनाओं    की    छद्म   प्रवृत्ति,
प्रेम     के       सूखते         स्रोत  
दिलों में    कूटनीतिक    मिलावट ,
आस्था   में   स्वार्थ  की   सजावट ,
बताता    है    ये     कलयुग     है ।

झूठ    का    बढ़ता    हुआ    कद,
धर्म  का  बदलता  बीभत्स स्वरूप,
सच्चाई   की  उखड़ती   हुई   सांसें ,
व्यभिचार   की   बढ़ती   हुई।  धूप ,
बताता   है    ये      कलयुग     है ।

भ्रष्टाचार का  बढ़ता  हुआ  दलदल,
गिरगिटों  का  बढ़ता  हुआ  परिवार ,
इंसानियत   की  खत्म   होती  नस्ल ,
कातिलों   का  फैलता  हुआ  बाजार ,
बताता     है      ये     कलयुग    है ।


 रचना -यशपाल सिंह "बादल"

©Yashpal singh gusain badal' #moonnight कामनाओं  का  अंतहीन  सफर ,

आशाओं   की    घटती     आयु 

मोह   का      कुचैला     आँचल

तृष्णा   का    बढ़ता    साम्राज्य 

MAHENDRA SINGH PRAKHAR

गीत :- उसे देखकर देखता ही रहा मैं । नही याद मुझको कि क्या-क्या कहा मैं ।। उसे देखकर देखता ही रहा मैं .... जगी आरजू है सुनो अब दिलों में ।

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गीत :- 
उसे देखकर देखता ही रहा मैं ।
नही याद मुझको कि क्या-क्या कहा मैं ।।
उसे देखकर देखता ही रहा मैं ....

जगी आरजू है सुनो अब दिलों में ।
बता दूँ उसे दिल हुआ मुश्किलों में ।।
नज़र को नही तुम हमारे पढ़ो अब ।
सुनो नाम लेकर पुकारो हमें अब ।।
यही ख्वाब़ बुनता सुनो जा रहा मैं ।
उसे देखकर देखता ही रहा मैं

बनूँ श्याम मैं तो वही राधिका हो ।
हमारी ग़ज़ल की वही भूमिका हो ।।
यकीं क्या दिलाऊँ उसे चाहतों का ।
हुआ आज मैं तो सुनों कातिलों का ।।
दुआ जान की अब किए जा रहा मैं ।
उसे देखकर देखता ही रहा मैं ...

न आया कभी ख्वाब़ फिर दूसरों का ।
सुनाता तुम्हें हाल हूँ करवटों का ।।
जुबा पर वही नाम है आज मेरे ।
किए जा रहा दिल उसी संग फेरे ।।
झलक जब उसी की दिखी चाँद सी तो ।
इधर से उधर झाकता ही रहा मैं ।।
उसे देखकर देखता ही रहा मैं ...

उसे देखकर देखता ही रहा मैं ।
नही याद मुझको कि क्या-क्या कहा मैं ।।

१३/०६/२०२३    -   महेन्द्र सिंह प्रखर

©MAHENDRA SINGH PRAKHAR गीत :- 
उसे देखकर देखता ही रहा मैं ।
नही याद मुझको कि क्या-क्या कहा मैं ।।
उसे देखकर देखता ही रहा मैं ....

जगी आरजू है सुनो अब दिलों में ।

BEENA TANTI

#कातिलों _की _महफ़िल

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मोहब्बत भरा दिल ले के जिनसे,
इश्क़ लड़ाने चले थे,
वो मेरे हमनवां नहीं, बल्की!
कातिलों के महफ़िल के,
सरताज निकले
।।शुक्रिया।।
***बीना***
(10/11/2020)
**************

©Beena Tanti #कातिलों _की _महफ़िल

शिव साहब यादव

#कातिलों के काफिले

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कातिलों के काफिले में ढूंढता है मीत क्यों ।
जिसने छीना चैन तेरा गाता उसी का गीत क्यों।। #कातिलों के काफिले

SONGWRITER DURGA KRISHNA

ऐसे कातिलों को तिल तिल कर मारना चाहिए।

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mahiraj1730

मुझे क्या डराएगा मौत का मंजर, हमने तो जन्म ही कातिलों की बस्ती में लिया है...!!!

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anil kumar

मुझे क्या डराएगा मौत का मंजर,  हमने तो जन्म ही कातिलों की बस्ती में लिया है....

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मुझे क्या डराएगा मौत का मंजर, 

हमने तो जन्म ही कातिलों की बस्ती में लिया है.... मुझे क्या डराएगा मौत का मंजर, 

हमने तो जन्म ही कातिलों की बस्ती में लिया है....

Lokesh Mishra

कातिलों के शहर में,निर्दोष ढूंढ़ते हो,✍️❤️

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कातिलों के शहर में,निर्दोष ढूंढ़ते हो,
हर शख्स है रंगा यहां खून से,
और लोग के रंग यहां सफेद ढूंढ़ते हो, कातिलों के शहर में,निर्दोष ढूंढ़ते हो,✍️❤️
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