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Veer Tiwari

रामधारी सिंह दिनकर "कुरुक्षेत्र"

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नोट: रामधारी सिंह दिनकर की कविता "कुरुक्षेत्र"

आज मैंने रामधारी सिंह दिनकर की प्रसिद्ध कविता "कुरुक्षेत्र" पढ़ी, और इसने मेरे मन में अनगिनत विचारों का जन्म दिया। यह कविता न केवल युद्ध की विभीषिका को उजागर करती है, बल्कि मानवता, नैतिकता, और धर्म के गहरे सवालों को भी सामने लाती है।

जब मैं इस कविता को पढ़ रहा था, तो मुझे लगा कि यह केवल एक ऐतिहासिक कथा नहीं है, बल्कि आज के समय में भी इसका महत्व है। आज जब हम अपने समाज में विभिन्न प्रकार के संघर्ष और असमानताओं का सामना कर रहे हैं, दिनकर जी की यह कृति हमें एक नई दृष्टि प्रदान करती है। कविता में कौरवों और पांडवों के बीच का संघर्ष, केवल भौतिक युद्ध नहीं, बल्कि एक मानसिक और आध्यात्मिक लड़ाई भी है। यह हमें सोचने पर मजबूर करती है कि क्या हमें ऐसी लड़ाइयों की आवश्यकता है? क्या हम अपने धर्म और नैतिकता के सिद्धांतों के खिलाफ जाकर किसी भी प्रकार की हिंसा को सही ठहरा सकते हैं?
कविता में दिनकर जी ने जिस तरह से लाशों की महक और घायल सैनिकों की पुकार का चित्रण किया है, वह अत्यंत संवेदनशील है। यह हमें याद दिलाता है कि युद्ध केवल एक शारीरिक संघर्ष नहीं है, बल्कि इसके साथ जुड़ी होती हैं अनगिनत मानसिक और सामाजिक पीड़ाएँ। आज के समय में, जब हमारे समाज में हिंसा, धार्मिक असहमति, और राजनीतिक संघर्षों की बातें बढ़ रही हैं, तब यह कविता और भी अधिक प्रासंगिक हो जाती है।
कविता ने मुझे यह सिखाया कि हमें संवाद और समझदारी के माध्यम से समस्याओं का समाधान निकालना चाहिए। आज के संदर्भ में, हमें यह समझने की आवश्यकता है कि शांति केवल युद्ध के बिना नहीं है, बल्कि यह आपसी सहयोग और समझदारी से ही संभव है। हमें दिनकर जी के इस महत्वपूर्ण संदेश को अपने जीवन में उतारना चाहिए।
इसलिए, मैंने निश्चय किया है कि मैं अपने आसपास के लोगों के साथ संवाद स्थापित करूंगा। मैं समझता हूँ कि बातें करने से misunderstandings कम होती हैं और सामंजस्य बढ़ता है। हमें हर किसी के अधिकारों की रक्षा करनी चाहिए और असमानताओं के खिलाफ आवाज उठानी चाहिए।
इस कविता को पढ़ने के बाद, मैंने यह महसूस किया कि रामधारी सिंह दिनकर केवल एक कवि नहीं, बल्कि एक विचारक भी थे। "कुरुक्षेत्र" में दिए गए विचार और संदेश आज भी हमारे समाज के लिए प्रासंगिक हैं। मुझे लगता है कि हम न केवल अपने व्यक्तिगत जीवन में सुधार कर सकते हैं, बल्कि समाज को भी एक सकारात्मक दिशा में ले जा सकते हैं।
आज का यह अनुभव मुझे हमेशा याद रहेगा, और मैं इसे अपनी जीवन यात्रा में एक महत्वपूर्ण मोड़ के रूप में देखता हूँ।

©Veer Tiwari रामधारी सिंह दिनकर "कुरुक्षेत्र"

technical sunny aarti Sunny Khude

धम्मचक्र प्रवर्तन दिनाच्या हार्दिक शुभेच्छा tssk technical sunny sunil khude 12 oct 2024 #Shorts

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Anuj Mishra

जय बाबा बटेश्वर नाथ 🙏 आज बाबा बटेश्वर नाथ का संध्याकाल आरती दिव्य विशेष श्रंगार दर्शन दिनांक 07/10/2024 दिन (सोमवार)🌺🌺

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हिमांशु Kulshreshtha

एक दिन..

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White एक दिन
जो कभी गुजार पाऊँ
तुम्हारे साथ..
किसी झील के करीब
दूर से आता देख तुम्हें
इंतजार की पीढ़ा भूल
हाथ उठा कर बुला लूँ
तुम्हें नज़दीक
तुम्हारे हाथ बढाने
और मेरा हाथ थाम
देखते रहें एक दूसरे की आँखों में
ख़ामोश रहें होंठ
बातें आँखों से कर लें हम
जी लें उन चंद पलों में
एक पूरा जीवन
इस क़दर ख़ामोशी दिल की
धड़कन सुन पाएं एक दूजे की हम
ख्वाहिश छू लेने की
एक भीगे से चुम्बन की
महज ख्वाहिश, अधूरी, अनुत्तरित

©हिमांशु Kulshreshtha एक दिन..

Anuj Mishra

जय बाबा बटेश्वर नाथ 🙏 आज बाबा बटेश्वर नाथ का संध्याकाल आरती दिव्य विशेष श्रंगार दर्शन दिनांक 02/10/2024 दिन (बुधवार) 🌺🌺

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सूर्यप्रताप स्वतंत्र

#कविता_संगम Dheeraj Srivastava kavita ranjan दिनेश कुशभुवनपुरी करन सिंह परिहार सुनील 'विचित्र'

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तुम्हारी टीम हीरा है, तुम्हारी टीम मोती है।
वहाँ भी जीत लेते तुम, जहाँ पर हार होती है।

©सूर्यप्रताप स्वतंत्र #कविता_संगम Dheeraj Srivastava  kavita ranjan  दिनेश कुशभुवनपुरी  करन सिंह परिहार  सुनील 'विचित्र'

Santanu Das

बादल दिन

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हिमांशु Kulshreshtha

एक दिन...

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White एक दिन
शायद …
खत्म होगा इंतजार…
बहु प्रतीक्षित इंतजार.!!!!

©हिमांशु Kulshreshtha एक दिन...

vsfsaifkhawaza

दिन #vsfsaifkhawaza

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White सूरज ढल जाता है
ऐसे ही दिन गुजर जाता है

©vsfsaifkhawaza दिन 
#vsfsaifkhawaza

Parasram Arora

वो दिन

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White वो  दिन ज्यादा 
दूर नही  ज़ब 
न मौसम बदलेगा 
न आदमी की नियत 
या गंदी आदते बदलेंगी 

लेकिन ये पृत्वी 
अपने अक्ष पर 
वैसे ही घूमती 
ठेगी जैसे अब तक 
युगो से घूमती  रहीं है

©Parasram Arora वो दिन
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