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Pooja
White सच्ची दोस्ती एक छोटे से गाँव में दो दोस्त रहते थे, अर्जुन और समीर। वे बचपन से एक-दूसरे के साथ खेलते और पढ़ाई करते थे। अर्जुन बहुत मेहनती था, जबकि समीर थोड़ा आलसी था। फिर भी, दोनों की दोस्ती बहुत गहरी थी। एक दिन गाँव में बड़ा तूफान आया। तेज़ हवाओं और बारिश ने सबकुछ तबाह कर दिया। अर्जुन का घर टूट गया, लेकिन समीर का घर सुरक्षित था। समीर ने अर्जुन को अपने घर बुलाया और कहा, "तुम मेरे साथ रह सकते हो, जब तक तुम्हारा घर ठीक नहीं हो जाता।" अर्जुन ने कहा, "तुम्हारा धन्यवाद, लेकिन मैं अपना घर फिर से बनाना चाहता हूँ। मैं खुद को साबित करना चाहता हूँ।" समीर को अर्जुन की बात समझ में आ गई, लेकिन उसने अपने दोस्त को अकेला छोड़ने का फैसला नहीं किया। अगले कुछ दिनों तक, समीर अर्जुन की मदद करता रहा। दोनों ने मिलकर टूटे हुए घर को फिर से बनाया। कुछ हफ्तों बाद, अर्जुन ने समीर से कहा, "आज मुझे समझ आया कि सच्ची दोस्ती केवल तब नहीं दिखती जब सबकुछ ठीक हो, बल्कि तब भी जब कठिनाइयाँ आ जाएं।" समीर मुस्कराया और बोला, "दोस्ती में सिर्फ मदद नहीं, विश्वास भी ज़रूरी है। तुमने इसे साबित कर दिया।" दोनों दोस्तों ने एक-दूसरे को गले लगा लिया और सच्ची दोस्ती का अहसास किया। ©Pooja #Moral story
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White सच्ची दोस्ती एक छोटे से गाँव में दो बचपन के दोस्त रहते थे - राज और सुमित। दोनों हमेशा साथ खेलते, पढ़ते और एक-दूसरे के साथ हर सुख-दुख में शामिल होते। उनकी दोस्ती गाँव में सबकी पसंदीदा थी, क्योंकि उनकी दोस्ती में सच्चाई और ईमानदारी थी। एक दिन गाँव में एक बड़ा मेला लगा। राज और सुमित दोनों ने तय किया कि वे मेला देखने जाएंगे। मेला देखने का excitement दोनों को बहुत था, लेकिन रास्ते में एक समस्या आ गई। राज के पास पैसे नहीं थे, और सुमित के पास कुछ ज्यादा थे। सुमित ने बिना किसी हिचकिचाहट के अपने सारे पैसे राज को दे दिए और कहा, "दोस्त, तुम मेरे बिना भी खुश रह सकते हो, लेकिन मैं तुम्हारे बिना खुश नहीं रह सकता। मेला तुम्हारे साथ ही तो अच्छा लगेगा।" राज ने सुमित की बातों को सुना और कहा, "तुम्हारी दोस्ती सबसे बड़ी दौलत है। मैं तुम्हारे बिना कुछ भी नहीं चाहता।" आखिरकार, दोनों ने मिलकर मेला देखा, खेल खेले और खूब मजे किए। उस दिन दोनों को समझ में आ गया कि सच्ची दोस्ती किसी भी चीज़ से बड़ी होती है। सीख: सच्ची दोस्ती में स्वार्थ नहीं होता, बल्कि एक-दूसरे की खुशी में अपना सुख देखा जाता है। ©Pooja #Moral story
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White सच्ची मित्रता एक छोटे से गाँव में दो अच्छे दोस्त रहते थे, रामू और श्यामू। दोनों एक साथ स्कूल जाते और खेलते थे। रामू गरीब था, लेकिन श्यामू के पास हर चीज़ थी। श्यामू हमेशा रामू का मज़ाक उड़ाता, लेकिन रामू उसे कभी नाराज नहीं होता था। एक दिन गाँव में बड़ा तूफ़ान आया। घरों की छतें उड़ीं, पेड़ गिर गए, और रास्ते बंद हो गए। रामू का घर भी बर्बाद हो गया। श्यामू ने देखा और तुरंत अपने घर से उसे मदद के लिए बुलाया। "रामू, तुम हमारे घर आ जाओ, मैं तुम्हारी मदद करूंगा," श्यामू ने कहा। रामू श्यामू के घर गया, और वहाँ श्यामू ने उसे तंग कमरे में बिठाया, भोजन दिया और उसकी मदद की। कुछ दिन बाद, रामू ने श्यामू से कहा, "तुमने मुझे तब मदद दी जब मुझे सबसे ज्यादा जरूरत थी, अब मैं भी तुम्हारी मदद करूंगा।" यह बात श्यामू को समझ में आई। वह जान गया कि सच्ची मित्रता तो वही है, जो मुश्किल समय में एक दूसरे के साथ खड़ी रहती है। उस दिन के बाद श्यामू और रामू की दोस्ती और भी गहरी हो गई। ©Pooja #Moral story
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White चमत्कारी बगिया एक छोटे से गांव में एक लड़का था जिसका नाम अर्जुन था। अर्जुन बहुत मेहनती था, लेकिन उसे हमेशा लगता था कि उसकी मेहनत का फल बहुत कम मिलता है। एक दिन, उसे गांव के बाहर एक सुनसान बगिया दिखाई दी। यह बगिया बहुत खूबसूरत थी, और वहाँ तरह-तरह के रंग-बिरंगे फूल खिले हुए थे। अर्जुन ने सुना था कि यह बगिया किसी जादुई ताकत से भरी हुई है। अर्जुन ने सोचा, "अगर मैं यहां काम करूं, तो शायद मेरी किस्मत बदल जाए।" उसने अगले दिन बगिया में काम करना शुरू कर दिया। जैसे ही वह बगिया में काम करता, बगिया की मिट्टी से सोने की सिक्के निकलने लगे। अर्जुन बहुत खुश हुआ, लेकिन उसने जल्दी ही महसूस किया कि बगिया का जादू सिर्फ उस पर ही असर नहीं करता। वह जानता था कि अगर वह यहां कुछ भी गलत करेगा, तो बगिया का जादू खत्म हो सकता है। अर्जुन ने तय किया कि वह बगिया का ख्याल बहुत सावधानी से रखेगा। उसने वहां के सभी पौधों की देखभाल की और कोई भी गलती नहीं की। धीरे-धीरे उसकी मेहनत रंग लाई और वह गांव का सबसे सुखी और संपन्न व्यक्ति बन गया। लेकिन उसने कभी भी बगिया के जादू का गलत फायदा नहीं उठाया, क्योंकि उसने समझ लिया था कि असली जादू मेहनत और ईमानदारी में ही है। सिख: ईमानदारी और मेहनत से ही सफलता मिलती है, और किसी भी चमत्कारी चीज़ का सही इस्तेमाल करना जरूरी है। ©Pooja #Moral story
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White किस्मत का खेल यह कहानी एक छोटे से गांव के लड़के मोहन की है। मोहन गरीब था, लेकिन उसमें अपार आत्मविश्वास और मेहनत की लगन थी। वह हर रोज़ खेतों में काम करने के बाद, स्कूल जाता और पढ़ाई में भी ध्यान देता। उसकी एक ख्वाहिश थी कि वह बड़ा आदमी बने, ताकि अपने परिवार का नाम रोशन कर सके। गांव में एक दिन मेला लगा। मोहन ने सोचा, "आज कुछ पैसे जीतने की कोशिश करता हूँ।" वह मेला देखने गया और वहां एक खेल की स्टॉल पर रुका। खेल था—"रूपी सिक्का फेंको, सही दिशा में आए तो जीत लो।" मोहन ने बिना ज्यादा सोचे पांच रुपये का सिक्का फेंका। कुछ ही सेकंड में सिक्का सही दिशा में गिरा और वह जीत गया। खुश होकर मोहन ने पुरस्कार के रूप में एक छोटी सी ट्रॉफी ली। तभी उस ट्रॉफी को देखकर पास खड़े एक व्यक्ति ने कहा, "तुमने किस्मत से यह ट्रॉफी जीती है, लेकिन अगर मेहनत से काम करोगे तो सच्ची सफलता तुम्हारी होगी।" मोहन ने उस व्यक्ति की बातों को गंभीरता से लिया और उस दिन से और भी मेहनत करने लगा। उसने अपनी पढ़ाई और खेतों में काम दोनों को अच्छे से संतुलित किया। सालों बाद, मोहन न केवल एक बड़ा व्यापारी बना, बल्कि गांव के बच्चों के लिए एक स्कूल भी खोला। वह जानता था कि किस्मत एक बार मदद करती है, लेकिन असली सफलता मेहनत और समर्पण से मिलती है। ©Pooja #Moral story
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White किस्मत का खेल एक छोटे से गाँव में राधिका नाम की एक युवती रहती थी। वह हमेशा कठिनाइयों का सामना करती थी, लेकिन उसकी उम्मीद और मेहनत कभी कम नहीं हुई। गाँव में एक पुराना कुआं था, जिसमें पानी बहुत कम था। गाँव के लोग हमेशा इस कुएँ के पानी के लिए परेशान रहते थे। एक दिन, राधिका ने ठान लिया कि वह इस समस्या का हल निकालेगी। उसने गाँव के लोगों को एकत्रित किया और सभी ने मिलकर कुएँ को साफ करने का निर्णय लिया। दिन-रात मेहनत करने के बाद, कुएँ से साफ पानी निकलने लगा। सब लोग खुशी से झूम उठे। गाँव के मुखिया ने राधिका को धन्यवाद दिया और कहा, "तुमने हमारी जिंदगी में खुशियों का रंग भर दिया।" राधिका मुस्कुराई और बोली, "यह हमारी मेहनत का फल है। जब हम मिलकर काम करते हैं, तो कोई भी समस्या बड़ी नहीं होती।" उस दिन से गाँव में एक नई ऊर्जा आई। राधिका की लगन और मेहनत ने सबको सिखाया कि कठिनाई चाहे कितनी भी बड़ी हो, अगर हम साथ हैं, तो हम सब कुछ कर सकते हैं। इस प्रकार, राधिका की कहानी ने गाँव में प्रेरणा का एक नया दीप जलाया। ©Pooja #Moral story
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White किस्मत का खेल एक बार की बात है, एक छोटे से गांव में रामू नाम का एक किसान रहता था। वह बहुत मेहनती और ईमानदार था, लेकिन उसकी फसल हर साल खराब हो जाती थी। गांव के लोग हमेशा उससे मजाक करते थे कि उसकी किस्मत खराब है। एक दिन, रामू ने तय किया कि वह अपनी किस्मत बदलने के लिए कुछ करेगा। उसने शहर जाकर एक प्रसिद्ध ज्योतिषी से मिलने का मन बनाया। ज्योतिषी ने उसे बताया कि उसके भाग्य में एक सुनहरा मौका आने वाला है, लेकिन उसे धैर्य रखना होगा। रामू लौट आया और अपने खेतों में काम करने लगा। दिन-रात मेहनत करने के बाद, एक दिन उसे अपने खेत में एक पुराना खजाना मिला। वह खजाना सोने के सिक्कों से भरा था। रामू ने उसे गांव के लोगों के साथ बांट दिया, और सभी ने उसकी मेहनत की सराहना की। धीरे-धीरे रामू की किस्मत बदलने लगी। अब वह सिर्फ एक किसान नहीं था, बल्कि गांव का सबसे अमीर आदमी बन गया। उसने अपनी मेहनत और धैर्य से यह साबित कर दिया कि किस्मत कभी-कभी मेहनत के साथ ही आती है। गांव के लोग अब उससे प्रेरणा लेते थे, और रामू हमेशा यही कहता था, "किस्मत केवल एक खेल है, मेहनत ही असली जीत है।" ©Pooja #Bhai_Dooj #Moral story
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White किस्मत का खेल गाँव में एक गरीब किसान, रामू, अपने परिवार के साथ रहता था। वह मेहनती था, लेकिन हर साल सूखा उसकी फसलें नष्ट कर देता था। एक दिन, उसे एक पुराना सिक्का मिला। उसने सोचा, "शायद यह सिक्का मेरी किस्मत बदल सकता है।" रामू ने उस सिक्के को एक साधू के पास ले जाकर दिखाया। साधू ने कहा, "यह सिक्का तुम्हें खुशकिस्मती दे सकता है, लेकिन इसका सही इस्तेमाल करना होगा।" रामू ने सोचा, "मैं इस सिक्के का उपयोग अपनी फसल सुधारने के लिए करूँगा।" उसने सिक्का बेचकर बीज खरीदे और कड़ी मेहनत करने लगा। इस बार बारिश हुई और उसकी फसल लहलहाने लगी। गाँव के लोग उसकी मेहनत को देखकर हैरान थे। रामू ने अपनी फसल बेचकर अच्छा मुनाफा कमाया और अपने परिवार को खुशहाल जीवन दिया। लेकिन रामू ने अपनी खुशियों को अकेले नहीं रखा। उसने गाँव के दूसरे किसानों की मदद की और उन्हें भी अच्छे बीज और संसाधन उपलब्ध कराए। सभी किसानों ने मिलकर एक नई शुरुआत की। सालों बाद, गाँव में हरियाली छा गई और रामू की मेहनत से लोग खुशहाल हो गए। उस सिक्के ने उसकी किस्मत बदली, लेकिन असली बदलाव उसकी मेहनत और दयालुता से आया। इस तरह, रामू ने साबित किया कि किस्मत का खेल मेहनत और अच्छे इरादों से ही जीत सकते हैं। ©Pooja #Moral story
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White एक छोटी सी कहानी: एक बार की बात है, एक छोटे से गांव में एक किसान रहता था। उसका नाम रामू था। रामू बहुत मेहनती था, लेकिन उसकी फसल हर साल बर्बाद हो जाती थी। एक दिन, उसने सोचा कि उसे कुछ नया करना चाहिए। रामू ने गांव के एक विद्वान से सलाह ली। विद्वान ने उसे बताया कि उसे अपने खेत में अच्छे बीज और सही देखभाल करनी होगी। रामू ने मेहनत से अच्छे बीज खरीदे और अपने खेत की देखभाल करने लगा। कई महीने बीते, और रामू की फसल खूब लहलहाने लगी। जब फसल कटने का समय आया, तो गांव के लोग उसकी फसल देखकर हैरान रह गए। रामू ने अपनी मेहनत और धैर्य से न केवल अपनी किस्मत बदली, बल्कि गांव के दूसरे किसानों को भी प्रेरित किया। उन्होंने सबको बताया कि मेहनत और सही जानकारी से हर मुश्किल को पार किया जा सकता है। इस तरह, रामू ने अपने जीवन में एक नया अध्याय शुरू किया और गांव में खुशी फैल गई। सीख: मेहनत और सही मार्गदर्शन से हर कठिनाई का सामना किया जा सकता है। ©Pooja #Dhanteras #Moral story
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