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Best सुलझी Shayari, Status, Quotes, Stories

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गीत @मन की पतंग

#सुलझी और अनसुलझी

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Shubham Bhardwaj

Angel Sona

        बड़ी सुलझी हुई हुँ मैं,

        ऎसा वो कहा करते थे,

आँखों में जिनके अब चुभती हुँ मैं।  #lockdowndiary #yourquotedidi #yourquotebaba #yadein
#ankahejazbaat #सुलझी

Virendra Singh Diwakar

#एक #स्त्री की #सुलझी हुई #दृष्टि #पुरुष को कई #उलझनों से #उबार लेती है। VD.Diwakar

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Bhawna Arora

कहते है इसे मोहब्बत की किताब,
किसी की बंद तो किसी की खुली..!! #पहेली 
#मोहब्बतकीबातें 
#उलझी 
#सुलझी 
#yqbaba 
#mr_collaborator #punjabikudi #YourQuoteAndMine
Collaborating with Arjun Jain

Ravit Choudhary

#अंजानी_हो_तुम Priyanka Upadhyay Poonam follow me on Instagram - @ravit_attry

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लगती हो सुलझी,पर उलझी कहानी हो तुम
रेगिस्तान की रेत में,अदृश्य पानी हो तुम
मोहब्बत की गलियों से अंजानी हो तुम
लगती हो सुलझी,पर उलझी कहानी हो तुम

एक वादा था,जो मै निभा ना सका
हां मै तुम्हे भुला ना सका
अधूरी ख्वाइशों की रवानी हो तुम
लगती हो सुलझी,पर उलझी कहानी हो तुम

भूल जाऊ तुम्हे ये चाहती हो
फिर क्यों ख्वाबों में चली आती हो
ना समझ सको बस इतना जानी हो तुम
लगती हो सुलझी,पर उलझी कहानी हो तुम #अंजानी_हो_तुम 
 Priyanka Upadhyay Poonam 
follow me on Instagram - @ravit_attry

Pratik Rajput

बात उन दिनो की है, जब मैं विचलित था, अपने ही मन के, कुविचारों से कुचलित था। दुनिया की सारी समझ उस दिन परे था, न जाने क्यों मेरा दिल अंदर से डरे था। फिर सोचा की चलो शेयर करते है,

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बात उन दिनो की है,
जब मैं विचलित था,
अपने ही मन के,
कुविचारों से कुचलित था।
दुनिया की सारी समझ उस दिन परे था,
न जाने क्यों मेरा दिल अंदर से डरे था।

फिर सोचा की चलो शेयर करते है,
उनसे,जो मेरा सबसे ज्यादा केअर करते है,
पर मैं गलत था,कोई काम ना आया।
उस दिन मदद को मेरी
आगे कोई नाम ना आया।
गुमान से भरा जीवन,एक पल में झुक गया,
जैसे आसमां आकर मेरे, पैरों में रुक गया।

जब पहली बार उस दिन 
दुनियादारी की आहट सी लगी,
सारे रिस्ते,दोस्त,नाते
अकेलेपन की मर्माहट सी लगी,
व्याकुल मन थम कर बैठ गया;
एक अजीब सा रुआसीपन 
सिने पर ऐंठ गया ।

उस दिन समझ को ये समझ हुआ,
जब मैंने दिल को हौले से छुआ, gf
समझाया ऐसी उम्मीद ना कर,
मतलबी है दुनिया, परछाई से डर,
मैं उस दिन डरा,और डरता चला गया
एहसासों को दफ़्न कर, और मरता चला गया।

अब सुलझी सुलझी सी है जिंदगी, 
न शिकवा ना शिकायत है,
उम्मीदों के किरण में भी
एक धुंधली इनायत है,
तो एक बात आज अपने तजुर्बे से कह दूँ
मुसीबतों का साझा,खुद से ही कर लेना,
खुद में ही जीना,और खुद में ही मर लेना ।

6जुलाई 2018 4pm बात उन दिनो की है,
जब मैं विचलित था,
अपने ही मन के,
कुविचारों से कुचलित था।
दुनिया की सारी समझ उस दिन परे था,
न जाने क्यों मेरा दिल अंदर से डरे था।

फिर सोचा की चलो शेयर करते है,

Mohammad Ibraheem Sultan Mirza

#जाहिर हुई तुमसे न #बयान हुई हमसे, बस #सुलझी हुई #आँखों में उलझी रही #मोहब्बत !!

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Natural Morning न जाहिर हुई तुमसे न बयान हो पाई हमसे,

बस सुलझी हुई आँखों में 

               उलझी रही मेरी मोहब्बत,




                          मौहम्मद इब्राहीम सुल्तान मिर्जा, न #जाहिर हुई तुमसे न #बयान हुई हमसे,
बस #सुलझी हुई #आँखों में उलझी रही #मोहब्बत !!

Nitin Jha

#Love #Life #shyari #Dil #poem पापा की प्यारी, माँ की जान है वो छोटे चेहरे पे हल्की मुस्कान है वो नाक के नीचे वाले तिल की शान है वो एक पल मे गुस्सा जैसे उसकी पहचान है वो थोड़ी सी सुलझी थोड़ी नादान है वो पतली सी पगली नन्ही सी जान है वो कुछ बनने की चाह है उसकी

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पापा की प्यारी, माँ की जान है वो 
छोटे चेहरे पे हल्की मुस्कान है वो 
नाक के नीचे वाले तिल की शान है वो 
एक पल मे गुस्सा जैसे उसकी पहचान है वो 
थोड़ी सी सुलझी थोड़ी नादान है वो 

पतली सी पगली नन्ही सी जान है वो 
कुछ बनने की चाह है उसकी 
अडिग सा स्वाभिमान है वो 
चंचल मन वाली घर का सम्मान है वो 
थोड़ी सी सुलझी थोडी नादान है वो #love #life #shyari #dil #poem पापा की प्यारी, माँ की जान है वो 
छोटे चेहरे पे हल्की मुस्कान है वो 
नाक के नीचे वाले तिल की शान है वो 
एक पल मे गुस्सा जैसे उसकी पहचान है वो 
थोड़ी सी सुलझी थोड़ी नादान है वो 

पतली सी पगली नन्ही सी जान है वो 
कुछ बनने की चाह है उसकी

Shasak Singh Sengar

वो कितने दूरदर्शी थे ! #Nojoto #MyThought #humans

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वो कितने दूरदर्शी थे ! कितनी सुलझी सोच थी ! वो जानते थे जगत का निर्माण सिर्फ उनके लिए ही नहीं हुआ. इंसान, जानवर, प्रकृति सभी की बराबर हिस्सेदारी है. वो ये भी जानते थे कि एक समय बुद्धिजीवी इंसान संपूर्ण जगत में अपनी हक़ की बात करेगा ! वो, मिल-जुल कर रहने वाले जंगलो और जानवरो के बीच घुस कर अपनी चौखट खडी कर देगा। वो जानते थे इंसान सिर्फ ईश्वर के सामने ही झुक सकता है तो क्यों ना प्रकृति और जानवरो को ईश्वर का अंश बना दिया जाये ताकि इंसानो का प्रकृति, जानवरो के प्रति सम्मान बना रहे । और किया भी !! 

हाथी, बाज़, शेर, मयूर से लेकर चूहों तक सभी को ईश्वर का वाहन बनाया। वृक्षो में पीपल, बरगद, चन्दन इत्यादि में ईश्वर का वास बताया। गंगा, यमुना, सरस्वती आदि नदियों को देवियो का रूप बनाया।

एक बच्चे को उसकी माँ ही दूध पिलाती है, और एक परिवार को सुबह-शाम दूध पिलाने वाली गाय को जगत माँ बनाया। तो क्या उन्होंने भूल की ? अरे मानवजाति, भूलो के कर्ता-धर्ता तो सिर्फ हम ही है। हम इंसानो ने सिर्फ एक काम ही किया है "व्यवसाय". जंगलो में नींव डाली, जानवरो के घरो पर अपनी चौखट बना डाली, पेड़ो को काट डाला। गाय जिन्दा तो दूध का व्यवसाय नहीं तो मार कर मांश का. 

जगत निर्माण के दो स्तम्भ समाप्ति की ओर है, इंसानी बर्बरता चरम पर है. एक वो कितनी सुलझी सोच थी, और आज कितनी उलझी सोच है की "हम ईश्वर की शक्तियों का नाश कर रहे है और मूर्तियों की पूजा ". 

 वो कितने दूरदर्शी थे !

 #nojoto #mythought #humans
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