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Best बल्कि Shayari, Status, Quotes, Stories

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Mukesh Poonia

#isro_day #हालत को ऐसा न होने दें कि आप #हिम्मत हार जाए #बल्कि हिम्मत ऐसी रखें कि हालत ही #हार जाए आज का विचार अच्छे विचार फोटो अच्छे विचारों बेस्ट सुविचार नये अच्छे विचार

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Mukesh Poonia

#पैसो के पीछे नही #बल्कि अपने #पैशन के पीछे भागे और फिर देखे परिणाम।

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Pervaz Dhiman

#मैं #सही #फैंसले लेने में #यकीन #नहीं #रखता, #बल्कि मैं #फैंसले लेकर उन्हें #सही #साबित करता हूँ !!

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मैं सही फैंसले लेने में यकीन नहीं रखता,
बल्कि मैं फैंसले लेकर उन्हें सही साबित करता हूँ !!

©Pervaz Dhiman #मैं #सही #फैंसले लेने में #यकीन #नहीं #रखता,
#बल्कि मैं #फैंसले लेकर उन्हें #सही #साबित करता हूँ !!

Chandan Sharma

🙏🙏लक्ष्य_सिविल_सेवा🙏🙏 #IAS बनना अब मज़बूरी सी है मेरी #क्योंकि भगवान बनने के ख्वाहिश है मेरी

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🙏🙏लक्ष्य_सिविल_सेवा🙏🙏

      #IAS बनना  अब मज़बूरी सी है मेरी 
      #क्योंकि भगवान बनने के ख्वाहिश है मेरी
      #पर वो भगवान नहीं जिन्होंने सृष्टि रची है
      #बल्कि वो जो भूखे को पेट भर रोटी दे सके
            #बल्कि वो जो किसी को भी थोड़ा सा सहारा दे सके
      #बल्कि वो जो देश के कुछ काम आ सके......
✍️✍️✍️

#Chandan_Sharma__
Virat 🙏🙏लक्ष्य_सिविल_सेवा🙏🙏

      #IAS बनना  अब मज़बूरी सी है मेरी 
      #क्योंकि भगवान बनने के ख्वाहिश है मेरी

Rohit Thapliyal (Badhai Ho Chutti Ki प्यारी मुक्की 👊😇की 🙏)

#WorldSmileDay #BadhaiHoChuttiKi सवाल- हम खुशियाँ कैसे बाँट सकते हैं! जवाब- सभी महान लोग कहते हैं, कि- हर परिस्थिति में, भीतर से बेशर्त छुट्टी(ख़ुशी) महसूस करके ही हम ख़ुशी 🤗बाँट सकते हैं! तब छुट्टी(ख़ुशी) बाँटने की ड्यूटी करनी नहीं पड़ती है!

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#Worldsmileday  सवाल- हम खुशियाँ कैसे बाँट सकते हैं!
जवाब-
सभी महान लोग कहते हैं, कि-
"हर परिस्थिति में,
भीतर से बेशर्त छुट्टी(ख़ुशी) महसूस करके ही
हम ख़ुशी 🤗बाँट सकते हैं!
तब छुट्टी(ख़ुशी) बाँटने की ड्यूटी करनी नहीं पड़ती है!
बल्कि खुद-ब-खुद छुट्टी(ख़ुशी) बँटती हैं!
जैसे जब कोई कली खिलकर फूल बनाता है,
तो उस फूल🏵🌹🥀🌺🌻🌷🌼🌸💐⚘ को
खुशबू बाँटने की ड्यूटी नहीं करनी पड़ती है!
बल्कि उससे तो खुशबू खुद-ब-खुद निकलती रहती है!
बस उसी तरह बेशर्त छुट्टी(ख़ुशी)🤗 भी बँटती है!"
@बधाई हो छुट्टी की प्यारी मुक्की👊😇 की🙏 #WorldSmileDay #BadhaiHoChuttiKi
सवाल- हम खुशियाँ कैसे बाँट सकते हैं!
जवाब-
सभी महान लोग कहते हैं, कि-
हर परिस्थिति में,
भीतर से बेशर्त छुट्टी(ख़ुशी) महसूस करके ही
हम ख़ुशी 🤗बाँट सकते हैं!
तब छुट्टी(ख़ुशी) बाँटने की ड्यूटी करनी नहीं पड़ती है!

S Ram Verma (इश्क)

ओम भक्त "मोहन" (कलम मेवाड़ री)

गीदड़ करते किलकारियां जब सिंह सेज पर सोते हैं कलरव होता पंछियों का जब बाज खामोशी होते हैं देख संकट के बादल को नीड़ परिंदे सोते हैं लेकिन खामोश मुसाफिर बाज से बाज से संकट में मौका पाते हैं इस दुनिया खामोशी व्यक्ति को अवसर का अवमानना करने वाला बताया जाता है लेकिन खामोश रहते हुए अवसर का स्वागत करने वाला वास्तव में कोई बिरला ही होता जो खामोशी का स्वरूप बदल देता है जरूरी नहीं कि हर दहाड़ का अर्थ गर्जना कुछ दहाड़े मौन रहकर भी की जाति सी होने का अर्थ यह नहीं कि वह हमेशा अपना खौफनाक रूप ही दिखाएगा ब

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Manmohan Singh  खामोशी भी विचार करें की  बंदे ने यह क्या कर डाला मेरा तो स्वरूप ही बदल डाला ki खामोशी बुलंदी का दूसरा नाम गीदड़ करते किलकारियां जब सिंह  सेज पर  सोते हैं कलरव होता  पंछियों का जब बाज खामोशी होते हैं देख संकट के बादल को नीड़ परिंदे सोते हैं लेकिन खामोश मुसाफिर  बाज से बाज से संकट में मौका पाते हैं इस दुनिया खामोशी व्यक्ति को अवसर का अवमानना करने वाला बताया जाता है लेकिन खामोश रहते हुए अवसर का स्वागत करने वाला वास्तव में कोई बिरला ही होता जो खामोशी का स्वरूप बदल देता है जरूरी नहीं कि हर दहाड़ का अर्थ गर्जना कुछ दहाड़े मौन रहकर भी की जाति सी होने का अर्थ यह नहीं कि वह हमेशा अपना खौफनाक रूप ही दिखाएगा ब

Birjesh Singh

Good morning

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#EMI...

#जरूर_पढ़ें_आपको_झकझोर_देने_वाली_कहानी

ला ...बहू...ये सब्जी मैं काट देती हूँ, तू अभी ऑफिस से थकी हारी आई है और आते ही लग गई सब्जी काटने ..
मै तो कहती हूँ, तू यह जॉब अब छोड़ ही दे....
सुषमा जी ने अपनी बहू किजंल के हाथ से सब्जी लेते हुए कहा....।
"नही माँ जी, जब तक फ्लैट की EMI पूरी नहीं हो जाती....तब तक मे नौकरी छोड़ने का सोचूंगी भी नही..
"लेकिन बेटा.....अब तो राजेश की भी अच्छी जॉब लग गई है....
फिर आधी EMI तू क्यों देती है ...सुषमा जी ने सब्जी काटते हुए कहा....
"क्योकि मैंने उस दिन आपको पर्दे के पीछे बहुत देर तक रोते देखा था.....
जब पिता जी ने जरा सी कहा सुनी पर आप से कह दिया, कि निकल जा मेरे घर से.......
सुषमा जी अवाक सी नजरों से बहु किजंल को देखने लगी तो किजंल बोली -मां....ये आपके साथ नही बल्कि हर शादीशुदा लडकियों को अक्सर सुनने को मिलता है अक्सर पति गुस्से मे कह देते है की जाओ अपने घर ये मेरा घर है ...और वही मायके मे मां बाप भाई बहन कहते है की अब ससुराल ही तुमहारा घर है ये नही....
तो आखिर हम लडकियों का अपना घर कौन सा है ..
मां सच तो ये है हमारे बिना कोई घर ...घर नही होता सिर्फ ईट पत्थरों का ढांचा होता है उसे घर हम बनाती है फिर भी हमें सुनने को मिलता है की .....
इसीलिए मां मे नौकरी करके आधी EMI भरती हूं मुझे हक के लिए नही बल्कि ये सुनने को मिले ये हमारा घर है ...हम सभी का ...कहते किजंल सुषमा जी के गले लग गई वही सुषमा जी भीगी आँखें लिए सोच रही थी बहुत खूब मेरी बच्ची ...बहुत खूब ....
सचमुच हर बेटी को आत्मनिर्भर बनकर पति के साथ कदम से कदम मिलाकर साथ देने से ही एक ईट पत्थरों का ढांचा घर बना सकती है ...अपना घर...

#वक्त_है_बदलाव_का Good morning

Manish Jaipal

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क्या उनकी याद कभी नहीं आती ,
यह दूसरों से नहीं बल्कि उस जगह से पूछो जहां पर आपने पूरा दिन बिताया था। 
उन लोगो नहीं बल्कि अपने मन से पूछो कि अभी तक उनसे मुक्त हो पाए हो क्या!

ओम भक्त "मोहन" (कलम मेवाड़ री)

भगवान कृष्ण की हर कर्म (लीला)के पीछे,,,,एक महान गुढ रहस्य व मानव जाति के लिये "एक संदेश"होता है,,,,,,,,,,,जिन्हे समझने मे कई साल लग जाते है----------- कृष्ण की मटकी फोड लीला ----महज हमारे लिये एक आनंदोत्सव ही नही बल्कि एक महान शिक्षा है,,,,,कि मंजिल कितनी है दुर व विकट हो """वहाँ निराश हो कर नही बल्कि मिलकर प्रयास करना चाहिये,,,,और प्रयास भी ऐसा जिस मे सार्थकता हो,,,,,, हम देखते है कि"""""मटकी फोड ने लिये एक नही अनेक लोगो की जरुरत होती है,,,,, अनेक लोग भी सभ्य व सफल नही ,सबल नही बल्कि"""मान

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 भगवान कृष्ण की हर कर्म (लीला)के पीछे,,,,एक महान गुढ रहस्य व मानव जाति के लिये "एक संदेश"होता है,,,,,,,,,,,जिन्हे समझने मे कई साल लग जाते है-----------

कृष्ण की मटकी फोड लीला ----महज हमारे लिये एक आनंदोत्सव ही नही बल्कि एक महान शिक्षा है,,,,,कि

मंजिल कितनी है दुर व विकट हो """वहाँ निराश हो कर नही बल्कि मिलकर प्रयास करना चाहिये,,,,और प्रयास भी ऐसा जिस मे सार्थकता हो,,,,,,

 हम देखते है कि"""""मटकी फोड ने लिये 
एक नही अनेक लोगो की जरुरत होती है,,,,, अनेक लोग भी सभ्य व सफल नही ,सबल नही बल्कि"""मान
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