Find the Best लिय Shayari, Status, Quotes from top creators only on Gokahani App. Also find trending photos & videos aboutयूं तो हमने घूम लिया सारा जहां लेकिन तेरी गली की बात ही कुछ और है, 'पत्नी के लिये प्यार भरी शायरी', भाई के लिये शायरी, 'बहन के लिये शायरी', बहन के लिये कविता,
राघव रमण
नजरि केर एकटा कोना मे नुका लिय सुनु न हमरा अपन काजर बना लिय ललका सेनुर लेल खाली परल अछि मांग हमरा अपन मांग केर सेनुर बना लिय ।। डाँर पर छिलकैत अछि घैला केर भार हमरा अपन घैला केर पेन्दी बना लिय ।। पैर मे रूनझुन करैत अछि पायल के थाप हमरा अपन पायल केर घुंघरू बना लिय ।। हाथ मे सदिखन खन खन करय कंगना हमरा अपन कंगना लेल कलाई बना लिय ।। आब की कहु सुनु यै प्राणप्रिये हमरा आब अपन हिया मे बसा लिय ।।
Mridul Mehra
Nazrana (नज़राना) किसी के लिय गम होता है खज़ाना, तो किसी के लिये फसाना. मगर अपने लिय तो एक एन्मोल नज़राना। अब छोड़ो भी ये रूठना और मनाना, अब ये राग हो चुका है पुराना। अब किसी को क्या समझना और क्या समझाना ? कभी होता था दिल तेरा भी और मेरा भी दीवाना । शहर में जिस कहनी का खतम हो चुका है चर्चा। कभी हम भी हुआ करते थे उस कहानी का हिस्सा। कैसे भूल सकता हूँ मैं वो अखारी पैगाम ? अगर हो सके तो मैं तुम्हें और तुम मुझे भूल जाना। #nazarana #poem #brokenheart #shatteredheart #thoughts #sadpoetry #message #story
nazarana poem brokenheart shatteredheart thoughts sadpoetry message story
read moreSunil kumar whatsaap 07348424298
तेरी मोहब्बत मेरी ज़रूरत.... मेरी हालात को देख कर जब तुमने मुझ को छोड़ा था वादे किये थे हमसे जन्म -जन्म साथ रहने का , और शादी का रिस्ता किसी और से जोडा था ! शादी का कार्ड ले कर जब तू मेरे पास आयी थी, पगलो की तरह रोते हुवे मैने अपने मोहब्बत की कसमे याद दिलायी थी, तूने कहा था कुछ नहीं बदलेगा शादी के हो जाने से, प्यार तो तुमसे हैं और तुमसे ही रहेगा, कोई फर्क नहीं पडेगा शादी हो जाने से ! नादान थे इस बात से जो इतनी सी बात नहीं समझ पाये,
तेरी मोहब्बत मेरी ज़रूरत.... मेरी हालात को देख कर जब तुमने मुझ को छोड़ा था वादे किये थे हमसे जन्म -जन्म साथ रहने का , और शादी का रिस्ता किसी और से जोडा था ! शादी का कार्ड ले कर जब तू मेरे पास आयी थी, पगलो की तरह रोते हुवे मैने अपने मोहब्बत की कसमे याद दिलायी थी, तूने कहा था कुछ नहीं बदलेगा शादी के हो जाने से, प्यार तो तुमसे हैं और तुमसे ही रहेगा, कोई फर्क नहीं पडेगा शादी हो जाने से ! नादान थे इस बात से जो इतनी सी बात नहीं समझ पाये,
read moreAnil Siwach
|| श्री हरि: || सांस्कृतिक कहानियां - 9 || श्री हरि: || 2 - शरण या कृपा? 'मेरा लडका शरण चाहता है महाराणा।' गोस्वामी श्रीगोविन्दरायजी के नेत्र भर आये थे। उनका स्वागत- सत्कार हुआ था, उनके प्रति सम्मान अर्पित करनेमें महाराणाने कोई संकोच नहीं किया था, किंतु गोस्वामीजी को तो यह स्वागत-सम्मान नहीं चाहिय। उनके ह्रदय में जो दारुण वेदना है उसे शान्त करनेवाला आश्वासन चाहिय उन्हे। 'आज़ एक वर्षसे अधिक हो गया मेरे पुत्रको भटकते। यवन सत्ताधारी चमत्कार देखना चाहता है। चमत्कार कहाँ धरा है मेरे पास और मेरा नन्ह
read moreAnil Siwach
|| श्री हरि: || सांस्कृतिक कहानियां - 9 || श्री हरि: || 1 - बद्ध कौन? 'बद्धो हि को यो विषयानुरागी' अकेला साधु, शरीरपर केवल कौपीन और हाथमें एक तूंबीका जलपात्र। गौर वर्ण, उन्नत भाल, अवस्था तरुणाई को पार करके वार्धक्यकी देहली पर खडी। जटा बढायी नहीं गयी, बनायी नहीं गयी; किन्तु बन गयी है। कुछ श्वेत-कृष्ण-कपिश वर्ण मिले-जुले केश उलझ गये हैं परस्पर।
read moreMr.Ishwar Aamyan
चंद लम्हों के लिय रोशनी देकर, ताउम्र के लिय तम (अंधेरा) दे गए, ताउम्र जो साथ जीने का वादा करते थे, वो ताउम्र जिने के लिय अपनी यादो का सहारा दे गए।
Anil Siwach
|| श्री हरि: || 2 - शरण या कृपा? 'मेरा लडका शरण चाहता है महाराणा।' गोस्वामी श्रीगोविन्दरायजी के नेत्र भर आये थे। उनका स्वागत- सत्कार हुआ था, उनके प्रति सम्मान अर्पित करनेमें महाराणाने कोई संकोच नहीं किया था, किंतु गोस्वामीजी को तो यह स्वागत-सम्मान नहीं चाहिय। उनके ह्रदय में जो दारुण वेदना है उसे शान्त करनेवाला आश्वासन चाहिय उन्हे। 'आज़ एक वर्षसे अधिक हो गया मेरे पुत्रको भटकते। यवन सत्ताधारी चमत्कार देखना चाहता है। चमत्कार कहाँ धरा है मेरे पास और मेरा नन्हा सुकुमार लाल चमत्कार क्या जाने। यवनों के
read moreAnil Siwach
1 - बद्ध कौन? 'बद्धो हि को यो विषयानुरागी' अकेला साधु, शरीरपर केवल कौपीन और हाथमें एक तूंबीका जलपात्र। गौर वर्ण, उन्नत भाल, अवस्था तरुणाई को पार करके वार्धक्यकी देहली पर खडी। जटा बढायी नहीं गयी, बनायी नहीं गयी; किन्तु बन गयी है। कुछ श्वेत-कृष्ण-कपिश वर्ण मिले-जुले केश उलझ गये हैं परस्पर। धूलिसे भरे चरण, कहीं दूरसे चलते आनेकी श्रान्ति। मुखकी घनी दाढ़ी पर भी कुछ धूलि के कण हैं। ललाटपर बडी-बडी श्वेदकी बूंदे झलमला आयी हैं। मध्याह्न होने को आया, साधुको अब विश्राम करना चाहिये।
read more
About Nojoto | Team Nojoto | Contact Us
Creator Monetization | Creator Academy | Get Famous & Awards | Leaderboard
Terms & Conditions | Privacy Policy | Purchase & Payment Policy Guidelines | DMCA Policy | Directory | Bug Bounty Program
© NJT Network Private Limited