छोड़कर जाना पड़ेगा, एक दिन कुदरत के जीवन का, यह अद्भुत नजारा, हमारी साँसों के साथ। हम तो सिर्फ निमित्त मात्र के लिए है, ईश्वर ने हमें जिंदगी का कर्ज़दार बन कर भेजा है, बस जीने भेजा है जिंदगी के हसीन लम्हे, एक सफ़र के रूप में मुसाफिर बनाके। आए हैं हम तो जिंदगी में, कुछ अच्छा करते जाना ए इंसान, जिंदगी का कर्ज़ उतार के, अपने इंसान होने की जिम्मेदारियां निभाते जाना। ❤ प्रतियोगिता- 470 ❤आज की ग़ज़ल प्रतियोगिता के लिए हमारा विषय है 👉🏻🌹"छोड़कर जाना पड़ेगा"🌹 🌟 विषय के शब्द रचना में होना अनिवार्य है I कृप्या केवल मर्यादित शब्दों का प्रयोग कर अपनी रचना को उत्कृष्ट बनाएं I