पोथी पुराणो में "मुक्ति " की बड़ी चर्चा हैं किन्तु आज तक कभी देखींनही गई "मुक्ति ' हाँ सब तरफ मर्यादाए हैं लक्ष्मण रेखाएं हैं सब तरफ बंधक हैं... आलोकतात्रिक बंधन हैं मुक्ति सिर्फ पुराणो का वो जमा हुआ मक्खन हैं ज़ो किसी टोस्ट पर आज तक लगाया नही गया हाँ कुछ सन्यासियों ने किसी जुगाड़ से संतत्त्व पा लिया होगा पर वो भी मुक्ति के लीए नही स्वर्ग में ऐयाशी के लीए " ©Parasram Arora मुक्ति.....